मप्र में नाराज और हाशिये पर आये भाजपा नेताओं को चुनावी शिलाजीत खिला कर ताकत देने के लिए भाजपा उन्हें पदों से नवाज रही है,कुछ को मंत्री पद देने की सुगबुगाहट है,क्या भाजपा की योजना चुनाव जीतने में मददगार होगी या और अधिक असंतोष बढ़ाएगी यह तो चुनाव परिणाम आने के बाद ही पता चलेगा,मंत्रीमंडल विस्तार के नामों को हरी झंडी देने में ही पिछले चार दिन बीत चुके हैं,पहले से बढे असंतोष को क्या इस विस्तार से और अधिक हवा मिलेगी या भाजपा के रणनीतिकार अपनी योजना में सफल होंगे यह भविष्य के गर्त में छुपा हुआ है.
भोपाल-मध्य प्रदेश में इसी साल विधानसभा चुनाव होने वाले हैं। राजनीतिक दलों में असंतोष और नाराजगी को दबाना बड़ी चुनौती बना हुआ है। भाजपा सत्ता में है और वह अपने नेताओं को बड़ी जिम्मेदारी देकर कैबिनेट मंत्री का दर्जा दे रही है।राज्य शासन द्वारा लगातार विभिन्न बोर्ड और निगमों के पदाधिकारियों को कैबिनेट मंत्री का दर्जा दिया जा रहा है। उसी क्रम में मध्यप्रदेश कुश कल्याण बोर्ड के अध्यक्ष नारायण सिंह कुशवाह एवं मध्यप्रदेश तेल घानी बोर्ड के अध्यक्ष रविकरण साहू को कैबिनेट मंत्री का दर्जा प्रदान किया गया है।इसी प्रकार एक अन्य आदेश में अध्यक्ष राज्य स्तरीय दीनदयाल अंत्योदय कार्यक्रम समिति रामपाल सिंह को भी कैबिनेट मंत्री का दर्जा दिया गया है।
लंबे अरसे से शिवराज मंत्रिमंडल में विस्तार की चर्चाएं चल रही हैं। वर्तमान में चार मंत्रियों के पद रिक्त हैं और इसे भरने के भी प्रयास जारी हैं।
संभावना जताई जा रही है कि मंत्रिमंडल का विस्तार जल्द होने वाला है। कई विधायक ऐसे हैं जो पूर्व मंत्री रह चुके हैं और उनकी दावेदारी भी बढ़ सकती है। लिहाजा इन दावेदारों को पहले ही कैबिनेट मंत्री का दर्जा दिया जा रहा है, ताकि अन्य को समायोजित करने में कोई दिक्कत न आए।