उत्तर प्रदेश के उप-मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने बीबीसी को दिए गए इंटरव्यू में कहा है कि समाजवादी पार्टी के नेता अखिलेश यादव ने “लड़ने से पहले ही हार मान ली है.”
जब बीबीसी रिपोर्टर ने केपी मौर्य से पूछा कि दूसरी पार्टियों के पास इतना पैसा नहीं है कि वो बीजेपी की तरह वर्चुअली चुनाव लड़ पाएँ, सपा नेता अखिलेश यादव ने माँग की है कि चुनाव आयोग उनको पैसे दे.
इसके जवाब में मौर्य ने कहा, “मुझे लगता है कि अखिलेश यादव जी ने आज साहस का परिचय दिया है. 2017 की तरह 2022 में समाजवादी पार्टी की पराजय तय है. जनता किसी भी क़ीमत पर गुंडाराज, दंगा राज, माफ़िया राज, भ्रष्टाचार करने वालों को स्वीकार नहीं करना चाहती है. हार तो उनकी तय थी. उन्होंने आज साहस दिखाया है कि आज तिथि की घोषणा होते ही उन्होंने हार स्वीकार कर लिया, उनको इसलिए मैं धन्यवाद देता हूँ.”
दस मिनट तक सवालों के जवाब देने के बाद जब उप-मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने बीबीसी के रिपोर्टर से कहा कि वे केवल चुनाव के बारे में सवाल पूछें.
बीबीसी के रिपोर्टर अनंत झणाणे ने कहा कि यह मामला चुनाव से जुड़ा हुआ है, इस पर उप-मुख्यमंत्री भड़क गए और उन्होंने रिपोर्टर से कहा कि आप पत्रकार की तरह नहीं, बल्कि किसी के “एजेंट” की तरह बात कर रहे हैं, इसके बाद उन्होंने अपनी जैकेट पर लगा माइक हटा दिया. उन्होंने बातचीत वहीं रोक दी और कैमरा बंद करने के लिए कहा. उसके बाद उन्होंने बीबीसी रिपोर्टर का कोविड मास्क खींचा और सुरक्षाकर्मियों को बुलाकर जबरन वीडियो डिलीट करा दिया.