Congress President Election: कांग्रेस अध्यक्ष पद के चुनाव की सरगर्मियों के बीच राजस्थान (Rajasthan Political Crisis) में हुए सियासी उठापटक का खामियाजा अशोक गहलोत (Ashok Gehlot) को भुगतना पड़ सकता है. रिपोर्ट की मानें तो गहलोत खेमे के विधायकों की ‘बगावत’ से पार्टी हाईकमान नाराज है. रिपोर्ट के अनुसार अब अशोक गहलोत पार्टी अध्यक्ष पद की रेस से बाहर हो सकते हैं. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक अब अब मुकुल वासनिक, मल्लिकार्जुन खड़गे, दिग्विजय सिंह और केसी वेणुगोपाल अध्यक्ष पद की रेस में चल रहे हैं.
उधर, राजस्थान में चल रहे संकट के बीच कांग्रेस के दोनों पर्यवेक्षकों मल्लिकार्जुन खड़गे और अजय माकन ने पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी से मुलाकात की. दोनों सीधे जयपुर से दिल्ली पहुंचे और इसके बाद 10 जनपथ पहुंचकर सोनिया से मुलाकात की. माना जा रहा है कि दोनों पर्यवेक्षकों ने सोनिया गांधी को अपनी रिपोर्ट सौंपी है. कांग्रेस के संगठन महासचिव केसी. वेणुगोपाल भी बैठक में मौजूद थे. पार्टी के वरिष्ठ नेता कमलनाथ भी जल्द सोनिया गांधी से मुलाकात कर सकते हैं.
माना जाता है कि अशोक गहलोत से कमलनाथ के अच्छे रिश्ते हैं और संकट सुलझाने की जिम्मेदारी उन्हें दी जा सकती है. बता दें कि राजस्थान में कांग्रेस विधायक दल की बैठक रविवार रात को मुख्यमंत्री आवास पर होनी थी, लेकिन गहलोत के वफादार कई विधायक बैठक में नहीं आए. उन्होंने संसदीय कार्यमंत्री शांति धारीवाल के बंगले पर बैठक की और फिर वहां से वे विधानसभा अध्यक्ष डॉ. सीपी जोशी से मिलने गए. राजस्थान के प्रभारी अजय माकन ने कहा कि जब विधायक दल की कोई आधिकारिक बैठक बुलाई गई हो और यदि कोई उसी के समानांतर एक अनाधिकारिक बैठक बुलाए, तो यह प्रथमदृष्टया ‘अनुशासनहीनता’ है. माकन ने कहा, ‘आगे देखेंगे कि इस पर क्या कार्रवाई होती है.’
मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया जा रहा है कि अशोक गहलोत नहीं चाहते कि सचिन पायलट उनकी जगह लें. ऐसी अटकलें हैं कि सचिन पायलट को मुख्यमंत्री बनाया जा सकता है. इसी वजह से गहलोत के समर्थकों ने पायलट के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है.