नई दिल्ली।। नरेंद्र मोदी की वजह से बीजेपी में उठी बगावत अभी थमी ही थी कि कांग्रेस में कलह का माहौल बन गया है। गुरुवार को कांग्रेस के सीनियर नेता जयराम रमेश ने मोदी को कांग्रेस के लिए चुनौती बताया था। उन्होंने कहा था कि 2014 के आम चुनाव में कांग्रेस के लिए न केवल मोदी का प्रबंधन कौशल चुनौती है बल्कि विचारधारा के स्तर पर भी वह चुनौती पेश करने वाले हैं। जयराम रमेश ने कहा था कि नरेंद्र मोदी गुजरात में तीन बार चुनाव जीते हैं। इसमें कोई शक नहीं है कि वह जबर्दस्त प्रचारक हैं।
रमेश के इस बयान को लेकर कांग्रेस में खलबली मची हुई थी। शुक्रवार दोपहर होते-होते कांग्रेस नेता और सांसद सत्यव्रत चतुर्वेदी ने कहा कि जयराम रमेश को मोदी से इतना ही डर है तो वह मोदी की पार्टी जॉइन कर लें। गौरतलब है कि जयराम रमेश से पहले कांग्रेस एक सुर में कहती रही है कि मोदी को गुजरात से बाहर कोई नहीं जानता है।
सत्यव्रत चतुर्वेदी ने मोदी को कांग्रेस के लिए चुनौती बताने पर जयराम रमेश को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि उन्हें गुजरात जाकर नरेंद्र मोदी की पार्टी बीजेपी जॉइन कर लेनी चाहिए। जयराम रमेश के बयान से कई कांग्रेसी नेताओं ने खुद को अलग कर लिया है। कांग्रेस नेता जगदंबिका पाल रमेश के बयान पर कहा कि मोदी कांग्रेस के लिए बिल्कुल चुनौती नहीं हैं। उधर बीजेपी का कहना है कि कांग्रेस मोदी फोबिया से उबर नहीं पाएगी। बीजेपी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा कि कांग्रेस में मोदी के विकास अजेंडा का खौफ है।
कांग्रेस को ऐसा लगा रहा है कि मोदी के बारे में रमेश के इस आकलन से बीजेपी को फायदा होगा। हालांकि, सच तो यह है कि रमेश ने मोदी को बीजेपी और कांग्रेस दोनों के लिए चुनौती बताया था। उन्होंने नरेंद्र मोदी पर तीखा प्रहार करते हुए कहा था कि मोदी देश के पहले असली फासिस्ट हैं। रमेश ने मोदी को भस्मासुर तक करार दिया। उन्होंने कहा कि मोदी को जिसने राजनीति का ज्ञान दिया उन्हें से भस्म कर दिया।