नई दिल्ली, 26 अप्रैल (आईएएनएस)। सर्वोच्च न्यायालय ने मंगलवार को शराब कारोबारी विजय माल्या को अपनी, अपनी पत्नी और अपने बच्चों की समस्त विदेशी संपत्तियों का ब्योरा बैंकों को देने का निर्देश दिया। बैंकों का माल्या की विफल कंपनी किंगफिशर एयरलाइंस पर 9,000 करोड़ रुपये से अधिक बकाया है।
न्यायमूर्ति कुरियन जोसेफ और न्यायमूर्ति रोहिंटन फली नरीमन की पीठ ने बैंकों को कानून के मुताबिक दिए जाने वाले ब्योरे पर कार्रवाई करने का निर्देश दिया।
अदालत ने बेंगलुरू की एजेंसी ऋण वसूली न्यायाधिकरण को भी निर्देश दिया कि मामले को यथासंभव शीघ्र यहां तक कि दो महीने में निपटाने की कोशिश करें।
अदालत ने वरिष्ठ वकील सी.ए. वैद्यनाथन के इस बयान को दर्ज कर लिया कि माल्या द्वारा बैंकों को ऋण के लिए दी गई निजी गारंटी में माल्या, उनकी पत्नी और उनके बच्चों की ये संपत्तियां शामिल नहीं हैं।
अदालत ने महान्यायवादी मुकुल रोहतगी के तर्क को भी दर्ज किया और माल्या की ओर से दिए गए बयान को खारिज करने के उनके अधिकार को स्वीकार किया।
माल्या ने अपनी, अपनी पत्नी और बच्चों की विदेशी संपत्तियों का ब्योरा अदालत को एक मुहरबंद लिफाफे में दिया था।