तिरुवनंतपुरम, 10 अप्रैल (आईएएनएस)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को कहा कि केरल में मंदिर की आग में गंभीर रूप से जले लोगों को दिल्ली और मुंबई स्थानांतरित किया जा सकता है।
कोल्लम जिले में पेरावुर शहर स्थित पुतिंगल देवी मंदिर का निरीक्षण करने के बाद प्रधानमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार केरल की जनता के साथ खड़ी है। वहां आग लगने से 110 लोगों की मौत हो गई है, जबकि 350 से अधिक घायल हैं।
तिरुवनंतपुरम मेडिकल कॉलेज में घायलों को देखने के बाद संक्षिप्त बयान में मोदी ने कहा कि वह इस घटना को लेकर बहुत दुखी हैं।
दिल्ली लौटने के लिए हवाईअड्डा रवाना होने से पहले मोदी ने कहा, “हम केरल के शोक में उसके साथ हैं और हम इस पीड़ा को कम करने के लिए जो कुछ किया जा सकता है, वह सबकुछ करेंगे। गंभीर रूप से घायलों को मुंबई और दिल्ली के अस्पतालों में स्थानांतरित किया जा सकता है।”
उन्होंने कहा, “मैंने मंदिर वाली जगह और अस्पताल का दौरा किया। इस हादसे में मरे लोगों के परिजनों के साथ मेरी सहानुभूति है। यह हादसा इतना भयावह है कि शब्दों में बयान नहीं किया जा सकता। दो सौ मीटर दूर खड़े लोग भी जख्मी हो गए। कोई भी ऐसी मौत के बारे में सोच भी नहीं सकता।”
इससे पहले मोदी दिल्ली से वायुसेना के विमान से तिरुवनंतपुरम पहुंचे और वहां से करीब 60 किलोमीटर दूर कोल्लम हेलीकॉप्टर से गए।
मुख्यमंत्री चांडी ने कोल्लम के आश्रमम मैदान में मोदी की अगवानी की। प्रधानमंत्री ने चांडी को अपने ही वाहन से मंदिर तक चलने को कहा।
मोदी ने मंदिर परिसर में टहलते हुए करीब 10 मिनट बिताए। केरल के गृहमंत्री रमेश चेन्निथला और लोकसभा सदस्य एन. के. प्रेमचंद्रन को प्रधानमंत्री को उस घटना के बारे में बताते देखा गया, जिसकी वजह से यह हादसा हुआ।
मंदिर से मोदी और चांडी कोल्लम जिला अस्पताल पहुंचे, जहां करीब 185 घायलों का इलाज चल रहा है।
इसके बाद उन्होंने चांडी एवं राज्य के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक की और केंद्र सरकार की ओर से हरसंभव सहायता देने का वादा किया।
यह हादसा तड़के 3.30 बजे तब हुआ, जब पटाखे की एक चिंगारी उस भवन पर आ गिरी, जिसमें बड़ी मात्रा में पटाखे रखे हुए थे। इससे पल भर में ही विस्फोट होने लगे और देखते ही देखते आग की विकराल लपटें उठने लगीं।
हादसा स्थल पर चेन्निथला ने पत्रकारों से कहा कि प्रधानमंत्री ने लावारिश शवों का किस तरह क्या किया जाना है, इस बारे में जानकारी ली।
चेन्निथला ने कहा, “प्रधानमंत्री ने कहा कि इस तरह के शवों का विशेष ध्यान रखा जाना चाहिए और डीएनए परीक्षण किया जाना चाहिए। “