न्यूयॉर्क, 12 नवंबर (आईएएनएस)। माफी छह या सात वर्ष की छोटी उम्र के बच्चों के लिए भी बेहद महत्वपूर्ण है। यही वह उम्र है जिसमें उनके सामाजिक जीवन की नींव बनती है और यह पूरी उम्र बरकरार रहती है।
न्यूयॉर्क, 12 नवंबर (आईएएनएस)। माफी छह या सात वर्ष की छोटी उम्र के बच्चों के लिए भी बेहद महत्वपूर्ण है। यही वह उम्र है जिसमें उनके सामाजिक जीवन की नींव बनती है और यह पूरी उम्र बरकरार रहती है।
एक नए शोध में यह बात सामने आई है कि बच्चों से किसी गलती के लिए माफी मांगने पर भले ही उन्हें बेहतर महसूस न हो, लेकिन यह उनके साथ आपके रिश्ते को बेहतर करने में जरूर मदद कर सकता है।
प्रमुख शोधकर्ता अमेरिका की वर्जिनिया युनिवर्सिटी के मरिसा ड्रेल के मुताबिक, “शोध में आश्चर्यजनक बात सामने आई कि मामूली गलती के लिए माफी सुनने वाले बच्चों को भी उतना ही बुरा लगता है जितना कि उन बच्चों को लगता है जिनसे माफी नहीं मांगी जाती।”
ड्रेल के मुताबिक, “भले ही माफी मांगने पर बच्चों की आहत हुई भावनाओं में कोई सुधार नहीं होता, लेकिन बच्चों से गलती की माफी मांगने पर उनके साथ संबंध में जरूर सुधार होता है। “
अध्ययन के लिए शोधकर्ताओं ने एक स्थिति तैयार की। बच्चों और वयस्क शोध सहायक को प्लास्टिक के कपों से टॉवर बनाने को कहा गया।
जैसे ही बच्चे अपना टॉवर बनाने के नजदीक पहुंचे, वयस्क ने बच्चे से एक कप उधार मांगा और ऐसा करने की प्रक्रिया में बच्चे का टॉवर गिरा दिया गया।
सहायक ने या तो माफी मांगी या बिना कुछ कहे ही कमरे से बाहर चली गई।
बाद में बच्चों से जब यह पूछा गया कि उन्हें कैसा महसूस हुआ तो जिन बच्चों से माफी मांगी गई थी उन्हें भी उतना ही बुरा लगा था, जितना कि उन्हें जिनसे माफी नहीं मांगी गई।
लेकिन जब बच्चों को शोध सहायकों को स्टिकर देने को कहा गया तो जिन बच्चों से माफी मांगी गई थी, उन्होंने अधिक उदारता दिखाई।
ड्रेल ने कहा, “हालांकि माफी से बच्चों ने बेहतर महसूस नहीं किया, लेकिन उसके बाद बच्चों के लिए माफ करना आसान हो गया।”
शोध जर्नल सोशल डेवलपमेंट में प्रकाशित हुआ है।