(खुसुर-फुसुर)– मप्र कांग्रेस के कुछ नेता जो अभी हाशिये पर चल रहे हैं शाम होते ही स्वयं ही खबर बना कर पत्रकारों को फ़ोन करते हैं और क्रमानुसार खबर ऐसे लिखने को कहते हैं जैसे पत्रकार अपने सम्पादक को बता रहा हो.
ये खबरिये खबर लिखवाने के बाद क्या लिखा है वह भी विस्तार से जानना चाहते हैं मजा यह की दुसरे दिन वह खबर भले ही अखबार में नहीं छपे इन खबरियों को कोई फर्क नहीं पड़ता,ये फिर शाम को अपने जोशो-खरोश के साथ तैयार मिलते हैं.काश यह जोश विरोधी पार्टियों के नेताओं में भी जाग जाए .