भारत के प्रवर्तन निदेशालय ने 60 भारतीय व्यावसायिकों पर विदेशी बैंकों में कालाधन छुपाकर रखने के आरोप में मुक़दमा दायर करके इन मामलों की जाँच शुरू कर दी है।
केन्द्रीय जाँच ब्यूरो के अधिकारियों ने आज पत्रकारों को यह जानकारी दी। स्विस बैंक एच०एस०बी०सी० में कालाधन रखने वाले कुल 1195 भारतीयों के नाम सामने आए हैं। इस खुलासे से भारत में हड़कम्प मच गया है। इन लोगों के खातों में 25 हज़ार 420 करोड़ रुपए जमा हैं।
वित्त मंत्री अरुण जेटली ने आज कहा कि स्विस बैंक में खाता रखने वाले भारतीयों से जुड़े नए नाम सामने आए हैं और उनकी प्रामाणिकता की जांच की जाएगी जबकि 60 मुकदमे पहले ही शुरू किए जा चुके हैं। जेटली ने यह बात पत्रकारों की एक अंतरराष्ट्रीय संस्था द्वारा एच०एस०बी०सी० की एक सूची के खुलासे के मद्देनज़र कही जिसमें बड़े उद्योगपतियों और राजनीतिक नेताओं समेत कुछ अन्य भारतीयों के नाम हैं। जेटली ने कहा कि कर विभाग ने एच०एस०बी०सी० बैंक की स्विस शाखा में खाता रखने वाले भारतीयों की पहले प्राप्त सूची में से 60 के ख़िलाफ़ मुकदमा शुरू कर दिया है और आज जिन नामों का खुलासा हुआ है उनमें से ज्यादातर के बारे में सरकार को पता है। जेटली ने यहां संवाददाताओं से कहा, कुछ नए नामों का खुलासा हुआ है जिनकी प्रामाणिकता की जाँच प्रशासन द्वारा की जाएगी। उन्होंने साथ ही कहा कि सरकार ने काले धन का पता लगाने के लिए पिछले छह-सात महीने में जोरदार प्रयास किए हैं।
जेटली ने कहा कि उन्होंने दावोस में पिछले महीने स्विट्जरलैंड के वित्त मंत्री सहित कई शीर्ष स्विस अधिकारियों से मुलाकात की थी और यह सहमति बनी थी कि कर-निर्धारितियों के कबूलनामे को जानकारी जुटाने की दिशा में अतिरिक्त साक्ष्य माना जाएगा। आज जिन भारतीय नागरिकों के नाम जारी किए गए हैं वे स्विट्जरलैंड में एच०एस०बी०सी० बैंक की प्राइवेट बैंकिंग इकाई में खाता रखने वालों की एक सूची में शामिल हैं। जेटली ने कहा कि गैरकानूनी तौर पर विदेशों में खाता रखने वाले 60 व्यक्तियों के खिलाफ मुकदमा शुरू किया है और 350 अन्य से जुर्माने वसूलने की कार्रवाई शुरू की जा चुकी है। उन्होंने कहा कि राजस्व विभाग मुखबिरों के संपर्क में है ताकि ऐसे और लोगों की जानकारी हासिल की जा सके।
जेटली ने कहा कि अब तक 60 मुकदमे दर्ज किए जा चुके हैं और ऐसे मामलों में नाम सार्वजनिक किए गए हैं जिनमें मुकदमा शुरू किया जा चुका है। उन्होंने कहा कि सभी खाताधारकों के नाम गैरकानूनी नहीं हो सकते क्योंकि कुछ ने कर विभाग को अपने विदेश के कारोबारी सौदों के बारे में जानकारी दी है जबकि इस सूची में शामिल कुछ नाम प्रवासी भारतीयों के हैं। जेटली ने कहा कि सरकार ने पिछले साल अक्तूबर में स्विट्जरलैंड की सरकार से बातचीत करने के लिए एक शिष्टमंडल भेजा था क्योंकि संदिग्ध मामलों से जुड़े साक्ष्य स्विट्जरलैंड में हैं।
रेडिओ स्पुतनिक से