भारतीय जनता युवा मोर्चा की तमिलनाडु इकाई के अध्यक्ष विनोज पी. सेल्वम पर आरोप है कि राज्य में मंदिरों को ढहाने के आरोप और तंजावूर ज़िले के एक विद्यालय द्वारा छात्रावास में 17 साल की एक किशोरी की कथित तौर पर धर्मांतरण के लिए बाध्य करने के संबंध में ट्वीट किया था. किशोरी ने आत्महत्या कर ली थी.
चेन्नई– तमिलनाडु में सोशल मीडिया पर गलत सूचनाओं का प्रसार कर सांप्रदायिक उन्माद फैलाने की शिकायत मिलने के बाद पुलिस ने शुक्रवार को भाजपा के एक पदाधिकारी के खिलाफ उनके ट्वीट को लेकर प्राथमिकी दर्ज की.
भाजपा ने यह कहते हुए पुलिस कार्रवाई की निंदा की कि यह अभिव्यक्ति की आजादी का उल्लंघन है. उसने अपने पदाधिकारी विनोज पी. सेल्वम के ट्वीट का हवाला देते हुए कहा कि न तो उसमें अमर्यादित शब्दों का इस्तेमाल किया गया है और न ही कुछ ऐसा है जिससे सांप्रदायिक उन्माद पैदा होता हो.
भगवा दल की इस प्रतिक्रिया से पहले चेन्नई के पुलिस आयुक्त शंकर जिवाल ने चेतावनी दी थी कि धार्मिक नफरत फैलाने या जनशांति बिगाड़ने के उद्देश्य से सोशल मीडिया पर अफवाह फैलाने वालों के विरूद्ध कड़ी कार्रवाई की जाएगी.
पुलिस ने बताया था कि भाजपा के एक कार्यकर्ता के विरूद्ध शिकायत दर्ज कराई गई है कि उसके ट्वीट से लोगों के बीच धर्म के आधार पर घृणा एवं वैमनस्य फैला, उसके बाद साइबर अपराध शाखा ने प्राथमिकी दर्ज की है और जांच शुरू की गई है.
चेन्नई के किलपौक के निवासी इलानगोवन ने भारतीय जनता युवा मोर्चा की तमिलनाडु इकाई के अध्यक्ष विनोज पी. सेल्वम के विरूद्ध शिकायत दर्ज कराई है.
चेन्नई पुलिस की एक विज्ञप्ति के अनुसार, इसी पृष्ठभूमि में जिवाल ने सामुदायिक उन्माद फैलाने या शांति बिगाड़ने के वास्ते झूठी या विकृत कर खबरों को पेश करने वालों के विरूद्ध कड़ी कार्रवाई की चेतावनी दी थी.
सेल्वम ने तमिलनाडु में मंदिरों को ढहाने के आरोप के संबंध में ट्वीट किया था. उन्होंने इस संबंध में कुछ ट्वीट किए थे कि तंजावूर जिले के एक विद्यालय ने छात्रावास में 17 साल की एक किशोरी को धर्मांतरण के लिए बाध्य किया. स्कूल प्रबंधन ने इस आरोप का खंडन किया है. हाल में किशोरी ने खुदकुशी कर ली थी.
गौरतलब है कि तंजावुर जिले के एक मिशनरी स्कूल के छात्रावास का है. 17 वर्षीय छात्रा ने बीते नौ जनवरी को ज़हर खा लिया था और 19 जनवरी को इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई थी.
प्रदेश भाजपा अध्यक्ष के अन्नामलाई ने कहा कि सेल्वम ने मंदिरों को ढहाए जाने के बारे में संबंधित खबरों का हवाला देते हुए ट्वीट किया था और स्थानीय निकायों में सुशासन की तरफदारी की थी.
उन्होंने कहा कि उस पोस्ट में सांप्रदायिक हिंसा फैलाने लायक कुछ नहीं था और भाजयुमो अध्यक्ष ने ऐसा कोई शब्द इस्तेमाल नहीं किया जिसे गैर-मर्यादित कहा जा सके.
समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, अन्नामलाई ने कहा कि सरकार के खिलाफ आलोचना का इस्तेमाल उसके प्रदर्शन को बेहतर बनाने के लिए किया जाना चाहिए और इसका उद्देश्य अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता को प्रभावित करना नहीं होना चाहिए।तमिलनाडु भाजपा प्रमुख ने आश्वासन दिया कि पार्टी इस मामले में सेल्वम का समर्थन करेगी.
अपने खिलाफ प्राथमिकी दर्ज होने के बाद इस पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए सेल्वम ने कहा कि जितने भी मुकदमे दर्ज होंगे वे उसके खिलाफ लड़ेंगे.