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 समरसता से खत्म करें समाज तोड़ने की प्रवृत्ति : मोहन भागवत | dharmpath.com

Saturday , 23 November 2024

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समरसता से खत्म करें समाज तोड़ने की प्रवृत्ति : मोहन भागवत

January 25, 2020 10:16 pm by: Category: फीचर Comments Off on समरसता से खत्म करें समाज तोड़ने की प्रवृत्ति : मोहन भागवत A+ / A-

गोरखपुर, 25 जनवरी- राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के सर-संघचालक मोहन भागवत ने नाम लिए बिना वामपंथ पर निशाना साधा और कहा कि समाज-तोड़क संवादों को सामाजिक समरसता से दूर किया जा सकता है। भागवत शनिवार को पूर्वी उत्तर प्रदेश क्षेत्र की पांच दिवसीय कार्यकर्ता बैठक में हिस्सा ले रहे थे। उन्होंने दूसरे दिन, शनिवार को तीन सत्रों में चलने वाली बैठक को संबोधित करते हुए कहा, “पूरे समाज से आपसी भेदभाव को दूर करने का कार्य ही स्वयंसेवक का गुण है। हमें समाज को सभी विकारों से मुक्त करके समरसता भाव वाले सामाजिक परिवेश को तैयार करना है। लंबे समय से समाज-तोड़क संवादों को सामाजिक समरसता से दूर किया जा सकता है।”

संघ प्रमुख ने कहा, “कुछ विकृतियों के कारण समाज का तानाबाना टूटा है। जाति-पाति, विषमता, अस्पृश्यता जैसे सामाजिक विकार जितनी जल्दी हो सके, खत्म होने चाहिए। समाज का मन बदलना चाहिए। सामाजिक अहंकार और हीनभाव दोनों समाप्त होने चाहिए।”

बैठक के दूसरे और तीसरे सत्र में संघ प्रमुख ने पर्यावरण के असंतुलन, उसके दुष्प्रभावों, ग्रामीण विकास और जैविक खेती के महत्व पर बात की।

संघ प्रमुख ने स्वयंसेवकों को नया लक्ष्य देते हुए कहा कि वे समाज के सभी वर्गो को साथ लेकर गांव-गांव जाएं। भारतीय जीवन मूल्यों के प्रकाश में ऐसे वातावरण का निर्माण करें कि सज्जन लोग समाज परिवर्तन के लिए चल रही गतिविधियों से जुड़ते चले जाएं। उन्होंने स्वयंसेवकों से किसी प्रचार या सत्ता के सहयोग के बिना सज्जन लोगों के साथ मिलकर परिवर्तन का मार्ग प्रशस्त करने का आह्वान किया।

इस दौरान उन्होंने स्वयंसेवकों से कहा कि जल संरक्षण और प्लास्टिक मुक्त समाज के लिए समाज का प्रबोधन करें। जरूरत पड़े तो प्रशिक्षण करने का आग्रह करें। ग्राम्य विकास की चर्चा करें और कृषि पर जोर दें।

संघ प्रमुख ने सूरजकुंड स्थित सरस्वती शिशु मंदिर वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय में चार दिवसीय बैठक के दूसरे दिन पूर्वी उत्तर प्रदेश क्षेत्र कार्यकारिणी, गोरक्ष, काशी, कानपुर, अवध प्रांत टोली, प्रांत कार्यकारिणी और पर्यावरण, सामाजिक समरसता, धर्मजागरण, समग्र ग्राम विकास, परिवार प्रबोधन और गो-सेवा जैसी गतिविधियों से जुड़ी प्रांतीय टोलियों को संबोधित करते हुए कई मुद्दों पर जागरूक भी किया।

समरसता से खत्म करें समाज तोड़ने की प्रवृत्ति : मोहन भागवत Reviewed by on . गोरखपुर, 25 जनवरी- राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के सर-संघचालक मोहन भागवत ने नाम लिए बिना वामपंथ पर निशाना साधा और कहा कि समाज-तोड़क संवादों को सामाजिक समरसत गोरखपुर, 25 जनवरी- राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के सर-संघचालक मोहन भागवत ने नाम लिए बिना वामपंथ पर निशाना साधा और कहा कि समाज-तोड़क संवादों को सामाजिक समरसत Rating: 0
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