नई दिल्ली, 3 जून (आईएएनएस)। ओ.पी. जिंदल ग्लोबल यूनिवर्सिटी (जेजीयू) के नए बैच के विद्यार्थियों (ग्रैजुएट्स) ने सार्वजनिक नीति प्रक्रियाओं में आगे बढ़ने को लेकर केंद्र व राज्य दोनों स्तरों पर काफी रुचि दिखाई है। विश्वविद्यालय के संस्थापक कुलपति ने यह जानकारी दी।
जिंदल स्कूल ऑफ गवर्मेट एंड पब्लिक पॉलिसी (जेएसजीपी) से 2018-19 में सार्वजनिक नीति और आर्थिक कार्यान्वयन पर केंद्रित पढ़ाई कर सफलतापूर्वक स्नातक की उपाधि हासिल करने वाले विद्यार्थियों के सामने कई विकल्प खुले हुए हैं।
जेजीयू के संस्थापक कुलपति प्रोफेसर (डॉ.) सी. राजकुमार ने कहा, “युवाओं मे राज्य व केंद्र सरकार दोनों स्तर पर सार्वजनिक नीति प्रक्रियाओं में पेशेवर तरीके से जुड़ने के लिए रुचि बढ़ी है।”
उन्होंने कहा, “सार्वजनिक नीति में इस विषय को पेश करने वाले नए स्कूलों की बढ़ती संख्या और जेएसजीपी में एमएपीपी कार्यक्रम में दाखिला लेने के लिए आवेदन करने वाले विद्यार्थियों की बढ़ती संख्या इस बात का प्रमाण है।”
उन्होंने कहा कि जेएसजीपी से सार्वजनिक नीति में परास्नातक(एमएपीपी) की उपाधि हासिल करने वाले विद्यार्थियों को करियर के काफी विकल्प मिलते हैं।
उन्हें थिंक टैंक, शिक्षा, उद्योग निकायों और निजी क्षेत्रों के अलावा सिविल सेवा, नीति विश्लेषण और सरकार में रिसर्च, अर्ध-सरकारी संगठनों, संयुक्त राष्ट्र और अन्य अंतर्राष्ट्रीय विकास संगठनों को चुनने का अवसर होता है।
एमएपीपी के पहले के और साथ ही मौजूदा बैच के विद्यार्थियों को सेंटर फॉर सिविल सोसायटी (सीएसएस), नीति आयोग, अकांउटेबिलिटी इंडिया, इंडियन इंस्ट्टियूट ऑफ ‘ूमन सेटलमेंट्स (आईआईएचएस), भारतीय उद्योग संघ (सीआईआई) जैसे कई प्रतिष्ठित संगठनों से इंटर्नशिप और प्लेसमेंट के अवसर मिल रहे हैं।
जिन छात्रों ने सिविल सेवा परीक्षाओं में सफलता हासिल की है, उन्होंने महसूस किया है कि एमएपीपी कार्यक्रम ने विस्तृत विविधता वाले संबंधित विषयों में उन्हें मजबूत आधार प्रदान किया है, जो कि प्रतियोगिता परीक्षाओं में सफलता हासिल करने के लिए जरूरी है।