लखनऊ /उन्नाव, 13 जनवरी (आईएएनएस)। उत्तर प्रदेश के उन्नाव जिले में गंगा नदी के परियर घाट के पास दर्जनों शव मिलने से स्थानीय अधिकारियों की नींद उड़ी हुई है। इस मामले के सामने आने के बाद आसपास के गांवों व कस्बों में भी लोग सहमे हुए हैं। स्थानीय अधिकारी फिलहाल इस मामले में ज्यादा कुछ बोलने से कतरा रहे हैं।
सूचना पाकर मौके पर पहुचे अधिकारियों ने पूरे मामले की जांच शुरू कर दी है। सभी पहलुओं पर गंभीरता से छानबीन हो रही है। प्रदेश सरकार ने भी मामले की जांच के आदेश दिए हैं। आईजी ने भी गंगा घाट पर सुरक्षा व्यवस्था बढ़ाने की बात कही है।
स्थानीय लोगों के मुताबिक, क्षेत्र में दाह संस्कार करने के लिए आमतौर पर एक दर्जन घाटों का उपयोग किया जाता है, मगर परियर घाट के किनारे कोई दाह संस्कार नहीं होता।
जिन स्थानों पर जल प्रवाह करने की परंपरा है, उनमें बिठूर घाट, भैरव घाट, भगतदास घाट, गोला घाट, हरिहर घाट प्रमुख हैं। इनके अलावा आधा दर्जन घाटों पर जल प्रवाह या शव जलाने की व्यवस्था है।
यही वजह है कि इतने शवों का एक साथ मिलने से इलाके के लोग चकित हैं और अनहोनी के भय से सशंकित हैं।
परियर घाट के किनारे दोपहर में मिले दर्जनों शवों में तकरीबन एक दर्जन शव ऐसे हैं, जिनके शरीर के सभी अंग सुरक्षित हैं और उनके जल्दी ही जल प्रवाह करने की आशंका जताई जा रही है। शेष शवों के कुछ ही अंग बचे हैं। आशंका है कि इनके अंगों को जल में रहने वाले जानवर या फिर मछलियों ने खा लिया है।
उन्नाव के एसडीएम एस.पी. शुक्ला ने बताया कि शवों का पोस्टमार्टम कराया जाएगा। मौत के कारणों को जानने के लिए यह जरूरी है। इसके बाद दाह संस्कार होगा। उन्होंने कहा कि जांच चल रही है, रिपोर्ट आने के बाद ही कारणों का पता चल सकेगा।
इधर, परिक्षेत्र के आई.जी. आशुतोष पांडेय ने कहा कि गंगा घाट के किनारे सुरक्षा व्यवस्था बढ़ाई जाएगी। घाटों के किनारे मनमानी करने की शिकायतें सुनने में आ रही हैं। अब ऐसे घाटों पर प्रशासन की पैनी नजर रहेगी।
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।