यूपी की समाजवादी पार्टी की सरकार अयोध्या में सोमनाथ मंदिर की तर्ज पर राम मंदिर बनाने की तैयारी कर रही है।
इसके लिए उत्तर प्रदेश सरकार ने सोमवार की शाम को एक उच्चस्तरीय बैठक बुलाई है। हालांकि इसी बीच सरकार ने इस प्रकरण में जारी पत्र को लिपिकीय त्रुटि बताकर पल्ला झाड़ने में जुट गई।
एक अंग्रेजी अखबार के मुताबिक यूपी सरकार ने सोमवार को बैठक बुलाई है। इसमें चर्चा होगी कि जिस तरह संसद से कानून बनाकर गुजरात में सोमनाथ मंदिर बना उसी तरह श्रीराम जन्मभूमि पर राम मंदिर बनाया जाए। अखबार की रिपोर्ट के मुताबिक यूपी सरकार ने प्रमुख गृह सचिव, फैजाबाद के डीएम और डीजीपी समेत कई सीनियर पुलिस अफसरों को चर्चा के लिए बुलाया है।
सुबह से ही इस पत्र पर हड़कंप मचा है और सरकार किसी तरह से मामले को साफ करना चाहती है। प्रमुख सचिव गृह आरएम श्रीवास्तव ने कहा है कि यह पत्र लिपिकीय त्रुटि के कारण जारी हो गया है। 14 अक्टूबर की बैठक अयोध्या में सुरक्षा-व्यवस्था को परखने के लिए बुलाई गई है। इसी बाबत यह पत्र भी जारी किया गया है। प्रमुख सचिव गृह भले ही सरकार के डैमेज कंट्रोल की खातिर कुछ ही बोले पर वरिष्ठ अधिकारी से हस्ताक्षर से जारी इस पत्र की हकीकत दूसरी तरफ इशारा कर रही।
इस गंभीर मामले पर सरकार शाम तक बड़ी कार्रवाई कर सकती है। कुछ बड़े अफसरों को इसका खामियाजा भी भुगतना पड़ा सकता है। गौरतलब है कि नौ अक्टूबर को गृह सचिव सर्वेश चंद्र मिश्र ने एक पत्र जारी कर अयोध्या में मंदिर निर्माण के संबंध में हो रही बैठक में पुलिस महानिदेशक उत्तर प्रदेश, अपर पुलिस महानिदेशक कानून व्यवस्था, अपर पुलिस महानिदेशक अभिसूचना, पुलिस महानिरीक्षक कानून व्यवस्था, पुलिस महानिरीक्षक रेलवे, पुलिस महानिदेशक लखनऊ जोन, पुलिस महानिरीक्षक फैजाबाद फैजाबाद के जिलाधिकारी और वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक को मौजूद रहने के निर्देश दिए हैं।
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