वृंदावन। श्रीकृष्ण जन्मोत्सव के बाद अब श्रद्धालु राधा अष्टमी पर्व की तैयारियों में जुट गये हैं। जन्म भले ही कृष्णजी का हो या फिर राधाजी का। वृंदावन में दोनों का ही महत्वपूर्ण स्थान है। जगह-जगह धार्मिक अनुष्ठानों के अलावा रात को निकलने वाली बधाई यात्रा (चाव) को में शामिल होकर आनंद की बरसात में तरबतर होने को दूर-दराज के श्रद्धालु वृंदावन पहुंचेंगे।
ब्रषभानु नंदनी श्रीराधाजी का जन्मोत्सव भले ही बरसाना में मुख्य रूप से मनाया जाता हैं, किंतु वृंदावन में भी यह पर्व किसी भी दृष्टि से कमतर नहीं आंका जा सकता। मंदिरों, आश्रमों में धूम मचाने लाखों भक्त जुटेंगे।
भोर में होने वाले जन्मोत्सव का कार्यक्रम श्रद्धा-भक्ति के साथ राधाबल्लभ मंदिर, बांकेबिहारी मंदिर के अलावा स्वामी हरिदासजी की साधना स्थली तटीय स्थान में जोर-शोर से मनाया जाता है। तटीय स्थान में भोर में ठाकुरजी का महाभिषेक होने के बाद दधिकांधा आयोजित होगा। पर्व की तैयारियाें में संतो के अलावा सेवक जुट गये हैं।
राधाष्टमी के दिन स्वामी हरिदास जी का जन्मोत्सव वृंदावन में धूमधाम के साथ मनाया जाता है। इस दौरान विश्वभर में शास्त्रीय संगीत की पताका फहराने वाले प्रख्यात कलाकार स्वामी जी को भावांजलि देने वृंदावन पहुंचते हैं। इस साल लगातार पांच दिनों तक वृंदावन में शास्त्रीय संगीत की सुरलहयिां गूंजेंगी तो संगीत प्रेमियों का भी जमावड़ा रहेगा। अलग-अलग स्थानों पर होने वाले संगीत के इस महासमर में भावांजलि देने अनेक हस्तियां यहां पहुंचेंगी। वृंदावन में स्वामी हरिदासजी के जन्मोत्सव पर उनकी साधना स्थली के दर्शन करने और संगीत साधना से उन्हें भावांजलि देने की इच्छा विश्व के दिग्गज कलाकारों के मन में रहती है। यहां संगीत महोत्सव के हो रहे दो बड़े आयोजनों में संगीतज्ञ अपनी साधना से स्वामीजी को भावांजलि देंगे तो संगीत प्रेमी अपने चहेते कलाकारों की कला का आनंद उठाएंगे। रमणरेती मार्ग स्थित स्वामी रामस्वरूप के पंडाल में 13 सितंबर को शुरू होने वाले स्वामी हरिदास संगीत एवं नृत्य महोत्सव का उद्घाटन करने प्रदेश के राज्यपाल आयेंगे तो मंच से प्रख्यात शास्त्रीय संगीतज्ञ अपनी कला का जलवा बिखेरेंगे। सलिल भट्ट, राजन-साजन मिश्र, अशोक पांडे जैसे दिग्गज संगीत प्रेमियों के सामने होंगे तो सिने जगत की हस्ती गोविंदा भजन गायन कर स्वामी हरिदासजी व बांकेबिहारी को रिझाते नजर आयेंगे।
वहीं दूसरी ओर ठा. राधासनेह बिहारी मंदिर16 सितंबर से शास्त्रीय संगीत की सुरलहरियों से गुंजायमान होगा। इसमें भी विश्व की संगीत जगत की हस्तियां शिरकत करेंगी। इसकी तैयारियाें में जुटे समिति के अध्यक्ष आचार्य अतुलकृष्ण गोस्वामी ने बताया कि दिग्गज हस्तियां अपनी कला का प्रदर्शन कर स्वामी जी को अपनी भावांजलि पेश करेंगी। 13 को स्वामी रामस्वरूप के पंडाल में तो 15 से सनेहबिहारी मंदिर में होगा प्रख्यात संगीतज्ञों का जमावड़ा, मंदिर, मठ, आश्रमों में भी पर्व पर होंगे धार्मिक अनुष्ठान, 16 की शाम को निकलेगी बधाई यात्रा।
राधा अष्टमी के दिन बांकेबिहारी मंदिर व प्राचीन राधाबल्लभ मंदिर से श्रीराधाजी की शोभायात्रा निकाली जाती हैं। जिसमें लाखों भक्त झूमते-गाते श्रीराधारानी के जयकारे लगाते चलते हैं। यह राधाबल्लभ मंदिर व बांकेबिहारी मंदिर से संयुक्त रूप से निकलने वाली शोभायात्रा मे दूरदराज के श्रद्धालु शामिल होने प्रतिवर्ष आते हैं।