तिरुवनंतपुरम, 18 अगस्त (आईएएनएस)। केरल के पूर्व नौकरशाह और अब भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेता के. जे. अल्फोंस ने बुधवार को कहा कि केंद्र शासित प्रदेश चंडीगढ़ के प्रशासक के रूप में उनकी नियुक्ति ‘नहीं होने जा रही है’।
आईएएनएस से बातचीत में अल्फोंस ने कहा, “पंजाब में बहुत जल्द चुनाव का समय शुरू होने वाला है, इसलिए राजनीतिक दलों ने मुझे लेकर परहेज जताया है। मेरी नियुक्ति नहीं होने जा रही है। चूंकि मुझे नियुक्ति आदेश मिला नहीं, इसलिए आदेश रद्द किए जाने का सवाल ही नहीं उठता। मैं कहूंगा कि मेरी नियुक्ति नहीं होने जा रही।”
अल्फोंस ने कहा, “13 अगस्त को भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने मुझे यह सूचित करने के लिए फोन किया मेरी नियुक्ति की स्वीकृति मिल चुकी है। लेकिन, इस पर पंजाब के राजनीतिक दलों के चिंता जताने के बाद उन्होंने मुझे बुधवार की रात फिर यह कहने के लिए फोन किया कि यह नियुक्ति नहीं होने जा रही है।”
अल्फोंस भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) के बहुत लोकप्रिय अफसर थे। उन्होंने वर्ष 2006 में नौकरी से इस्तीफा देकर वामदल समर्थक निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में केरल से विधानसभा चुनाव लड़ा था। वह न केवल चुनाव जीते बल्कि कोट्टायम जिले के कांजीरापल्ली विधानसभा क्षेत्र के एक प्रभावशाली विधायक बन गए।
जब उनका फिर से चुनाव लड़ना तय माना जा रहा था, तभी वह केरल की राजनीति छोड़कर दिल्ली आ गए और भाजपा की राष्ट्रीय कार्यकारिणी के सदस्य हो गए। तब से वह केरल में विधानसभा और लोकसभा चुनावों के दौरान भाजपा के लिए सक्रिय रहे हैं।
अल्फोंस तब चर्चा में आए थे जब दिल्ली विकास प्राधिकरण के आयुक्त के रूप में 1990 के दशक में 14 हजार अवैध निर्माण गिरा दिए थे।