नई दिल्ली, 2 अगस्त (आईएएनएस)। राज्यसभा में वस्तु एवं सेवाकर (जीएसटी) विधेयक पेश करने से पहले सरकार ने मंगलवार को सदन के सदस्यों को इस मसौदा विधेयक में संशोधनों की प्रतिशं वितरित की।
हालांकि, कुछ सदस्यों ने विधेयक को फिर से वितरित करने की मांग की, क्योंकि सदन में नए सदस्य भी हैं। इस पर सरकार सहमत हो गई।
पूरे देश में वस्तु एवं सेवाकर (जीएसटी) लागू करने के लिए कानून बनाने के वास्ते उच्च सदन में बुधवार को इस विधेयक पर चर्चा होनी है।
सूत्रों ने अनुसार, संशोधनों में राज्यों के बीच या राज्य और केंद्र के बीच विवादों के निपटारे के लिए एक तंत्र स्थापित करना और एक प्रतिशत अंतरराज्यीय कर को समाप्त करना शामिल है।
भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) संसदीय दल की की मंगलवार को हुई बैठक में वित्तमंत्री अरुण जेटली ने पार्टी सदस्यों को इस विधेयक के बारे में जानकारी दी।
सूत्रों के अनुसार, जेटली ने सदस्यों से कहा कि विधेयक पर चर्चा शुरू होने से पहले सदस्य इस विधेयक को पढ़ लें और समझ लें।
भाजपा और कांग्रेस दोनों पहले ही अपने सदस्यों को बुधवार को सदन में अनिवार्य रूप से मौजूद रहने के लिए ह्विप जारी कर चुके हैं। उसी दिन वस्तु एवं सेवाकर विधेयक पर चर्चा होने की संभावना है।