नई दिल्ली, 16 मार्च (आईएएनएस)। करीब एक दशक से अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर भारत का परचम लहराने वाली देश की शीर्ष बैडमिंटन स्टार सायना नेहवाल इस समय अपने करियर के शिखर पर हैं और विश्व की सर्वोच्च खिलाड़ी बनने की ओर अग्रसर हैं।
नई दिल्ली, 16 मार्च (आईएएनएस)। करीब एक दशक से अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर भारत का परचम लहराने वाली देश की शीर्ष बैडमिंटन स्टार सायना नेहवाल इस समय अपने करियर के शिखर पर हैं और विश्व की सर्वोच्च खिलाड़ी बनने की ओर अग्रसर हैं।
सायना के जबरदस्त प्रदर्शन को इसी से समझा जा सकता है कि इस वर्ष वह मौजूदा विश्व चैम्पियन स्पेन की कैरोलीना मारिन के खिलाफ एक खिताबी मुकाबला जीत चुकी हैं तथा अपने करियर के पहले वर्ल्ड सुपरसीरीज प्रीमियर टूर्नामेंट ‘ऑल इंग्लैंड ओपन’ के फाइनल तक का सफर तय करने में सफल रहीं।
ऐसा करने वाली वह पहली भारतीय महिला खिलाड़ी भी बनीं, हालांकि सायना को खिताबी मुकाबले में मारिन के हाथों हार मिली।
ओलम्पिक पदक जीतने वाली पहली भारतीय महिला बैडमिंटन खिलाड़ी सायना ने चीनी खिलाड़ियों के दबदबे वाले इस खेल में पूर्व सर्वोच्च विश्व वरीयता प्राप्त चीन की शिजियान वांग को अपदस्थ कर बीते गुरुवार को विश्व रैंकिंग में करियर की सर्वोच्च दूसरी रैंकिंग दोबारा हासिल कर ली।
सायना लंदन ओलम्पिक-2012 में महिला एकल वर्ग की कांस्य पदक विजेता रहीं।
मंगलवार को सायना जीवन का 25वां वसंत पूरा करेंगी और इस छोटी सी आयु में वह इससे कहीं अधिक खिताब और पदक जीत चुकी हैं।
वर्ष 2010 सायना के करियर का बेहद सफल वर्ष रहा। इस वर्ष उन्होंने सिंगापुर सुपरसीरीज, इंडोनेशिया सुपरसीरीज, हांगकांग सुपरसीरीज के अलावा इंडिया ग्रांप्री गोल्ड जीता और एशियन चैम्पियनशिप के महिला एकल वर्ग में कांस्य पदक हासिल किया। इसी वर्ष देश की राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में हुए राष्ट्रमंडल खेलों में सायना ने महिला एकल वर्ग का स्वर्ण पदक हासिल कर देश का सिर गर्व से ऊंचा कर दिया।
राष्ट्रमंडल खेल-2010 में सायना ने मिश्रित टीम स्पर्धा में भी देश को रजत पदक जीतने में अहम योगदान दिया। वर्ष 2008 में विश्व बैडमिंटन संघ (बीडब्ल्यूएफ) की ओर से वर्ल्ड मोस्ट प्रॉमिसिंग प्लेयर का अवार्ड जीत चुकीं सायना को 2010 में उनकी शानदार उपलब्धियों के लिए देश के सर्वोच्च खेल सम्मान राजीव गांधी खेल रत्न पुरस्कार से सम्मानित किया गया।
सायना को उसी वर्ष देश के प्रतिष्ठित पद्म पुरस्कार ‘पद्मश्री’ से भी नवाजा गया। 2009 में वह प्रतिष्ठित खेल पुरस्कार अर्जुन अवार्ड से भी सम्मानित की जा चुकीं हैं।
अनेक कीर्तिमान गढ़ चुकीं सायना आज देश की युवा पीढ़ी का आदर्श बन चुकी हैं तथा उनका सपना दुनिया की नंबर एक महिला बैडमिंटन खिलाड़ी बनने का है।
अपने इस छोटे से करियर में सायना ने भारत की ओर से कई कीर्तिस्तंभों को पहली बार छूने का गौरव हासिल किया और देश को भी गौरवान्वित किया। सायना विश्व जूनियर चैम्पियनशिप जीतने वाली तथा सुपरसीरीज खिताब जीतने वाली देश की पहली महिला खिलाड़ी भी हैं।
सायना के कद को इससे समझा जा सकता है कि उन्हें ओलम्पिक गोल्ड क्वेस्ट का समर्थन प्राप्त है और योनेक्स जैसा अंतर्राष्ट्रीय ब्रांड उनका प्रायोजक है।