मुंबई, 23 मार्च (आईएएनएस)। कॉरपोरेट बांड बाजार का विकास मुख्यत: सरकार द्वारा बड़े पैमाने पर बांड जारी कर जुटाए जाने वाले ऋण से प्रभावित होता है। यह बात भारतीय रिजर्व बैंक के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कही।
रिजर्व बैंके डिप्टी गवर्नर आर. गांधी ने यहां आयोजित एक सम्मेलन में कहा कि सरकारी बांड की बड़े पैमाने पर आपूर्ति कॉरपोरेट बांड बाजार के विकास को अवरुद्ध करने वाले कारणों में से एक है।
उन्होंने कहा कि बीमा कंपनियों और पेंशन फंडों की भूमिका का फिर से मूल्यांकन होना चाहिए, क्योंकि कॉरपोरेट बांड बाजार में वे प्रभावित हो गई हैं।
गांधी ने कॉरपोरेट बांड बाजार पर रिजर्व बैंक की चिंता का भी इजहार किया, क्योंकि कॉरपोरेट बांड बाजार को लेकर रिजर्व बैंक संतुष्ट नहीं है।
उनके मुताबिक सरकारी बांड बाजार की तुलना में कॉरपोरेट बांड बाजार बहुत छोटा है।