संयुक्त राष्ट्र के प्रवक्ता फरहान हक ने एक संवाददाता सम्मेलन में गुरुवार को कहा कि स्टाफ यूनियन के मुताबिक, मारे गए लोगों में दो पुलिस अधिकारियों सहित 27 शांति सैनिक तथा ठेकेदारों सहित 24 नागरिक भी शामिल हैं, जो जानबूझकर किए गए हमलों के शिकार हुए।
संयुक्त राष्ट्र के स्टाफ यूनियन ने कहा कि कुछ हमलों में आईईडी (आईईडी), रॉकेट, तोप तथा बारूदी सुरंग का इस्तेमाल किया गया। कुछ लोग फिदायीन हमलों व लक्षित हमलों में मारे गए।
संयुक्त राष्ट्र के मुताबिक, साल 2015 में माली में सर्वाधिक जानें गईं, जहां कम से कम 25 लोग घात लगाकर किए गए हमलों, बारूदी सुरंगों व विस्फोट में मारे गए।
आंकड़ों के मुताबिक, बीते चार वर्षो में संयुक्त राष्ट्र के कम से कम 207 कर्मी जान बूझकर किए गए हमलों में मारे गए। वहीं, साल 2014 में संयुक्त राष्ट्र के 61 तथा साल 2013 में कम से कम 58 लोग मारे गए।