काठमांडू, 2 अगस्त (आईएएनएस)। नेपाल के आंदोलनरत संघीय लोकतांत्रिक मधेसी मोर्चा (एसएलएमएम) ने मंगलवार को नेपाली कांग्रेस और कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ नेपाल (माओवादी सेंटर) के साथ तीन बिंदुओं के समझौते पर हस्ताक्षर किए। नेपाल में ये दोनों दल मिलकर सरकार बनाने जा रहे हैं। अधिकारियों ने यहां यह जानकारी दी।
करार के मुताबिक, नई सरकार संघीय गठबंधन द्वारा तय पूर्व शर्तो को लागू करेगी। इनमें मधेशी मोर्चा प्रायोजित आंदोलन में मारे गए सभी लोगों को शहीद घोषित करना और इससे प्रभावित होने वालों को राहत एवं घायलों को मुआवजा देना शामिल है।
करार का दूसरा मुद्दा यह है कि नई सरकार मधेसी मोर्चा के 11 सूत्री मांगपत्र और संघीय गठबंधन के 26 सूत्री मांगपत्र पर राजनीतिक सहमति कायम करेगी और संसद में एक संविधान संशोधन का प्रस्ताव लाएगी।
संघीय गठबंधन मधेस आधार वाले दलों और नेपाल के तराई इलाके की जनजातियों का गठबंधन है।
मधेसी मोर्चा और गठबंधन द्वारा बुधवार को होने वाले प्रधानमंत्री पद के चुनाव में माओवादी पार्टी के अध्यक्ष पुष्प कमल दहल प्रचंड को प्रधानमंत्री के रूप में समर्थन करना तय है।
इस तीन सूत्री करार के बाद गठबंधन ने दहल की उम्मीदवारी का समर्थन करने का निर्णय लिया है, लेकिन यह सरकार में शामिल नहीं होगा।
इस करार को नेपाली कांग्रेस और माओवादियों की ओर से राजनीतिक प्रतिबद्धता बताया जा रहा है। नेपाली कांग्रेस, माओवादियों और गठबंधन ने करार के लिए सहमति तक पहुंचने के लिए नौ सदस्यीय कार्यबल का गठन किया था।
नेपाली कांग्रेस, माओवादियों और गठबंधन के नेताओं के संयुक्त हस्ताक्षर से जारी बयान में कहा गया है, “हम लोग नेपाल को गणतंत्र की ओर तैयार करने में मदद करने वाले आंदोलनों व थारू, मधेसी और जनजाति/आदिवासी की आकांक्षाओं को मान्यता और आदर देते हैं। हम लोगों को एक रास्ता तलाशलना है जो नेपाली समाज के सभी वर्गो को नए संविधान को सबकी संपत्ति के रूप में स्वीकार करने के योग्य बनाए।”
पार्टियों ने कहा है कि वे नए संविधान के मूल मूल्यों, लोकतंत्र, गणतंत्र प्रणाली, समेकितता, समानता और सत्ता में विभिन्न वर्गो व समूहों के समानुपातिक प्रतिनिधित्व जैसी बातों को लागू करने के लिए प्रतिबद्ध हैं।