नई दिल्ली, 18 सितंबर – चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की वार्ता से दोनों देशों के बीच आर्थिक सहयोग का एक नया अध्याय शुरू किया है। बीजिंग ने भारतीय वस्तुओं और निवेश को चीन में प्रवेश करने की अधिक सुविधा देने और भारत में अगले पांच साल में 20 अरब डॉलर निवेश करने का वादा किया है। दोनों नेताओं ने मुख्यत: आर्थिक मुद्दों पर ही बात की। मोदी ने कहा कि उन्हें खुशी है कि चीन भारत में दो औद्योगिक पार्क स्थापित करने और व्यापार असंतुलन की समस्या पर ध्यान देने पर सहमत हो गया है।
वार्ता के बाद मोदी ने कहा, “मैंने व्यापार असंतुलन का मुद्दा उठाया। मैंने राष्ट्रपति शी से आग्रह किया कि हमारी कंपनियों को चीन के बाजार में प्रवेश और निवेश का अवसर प्रदान किया जाए।”
उन्होंने कहा, “चीन के राष्ट्रपति ने कहा कि वह अपनी ओर से इसके लिए पुख्ता कदम उठाएंगे।”
दोनों देशों के बीच 2013 में कुल व्यापार 65.88 अरब डॉलर का था। भारत ने जहां चीन को 14.50 अरब डॉलर मूल्य का निर्यात किया, वहीं 51.37 अरब डॉलर का आयात किया।
वार्ता के बाद यहां हैदराबाद हाउस में संवाददाताओं के सामने बयान देते हुए मोदी ने कहा कि भारत और चीन के बीच आर्थिक सहयोग बढ़ाने की असीम संभावनाएं हैं।
राष्ट्रपति शी ने मोदी की बातों को ही दुहराते हुए कहा, “चीन और भारत क्षेत्र में आर्थिक विकास की अगुआई करने के लिए दो इंजनों की भांति काम करेगा।” उन्होंने कहा, “चीन अगले पांच साल में 20 अरब डॉलर का निवेश करेगा।”
उन्होंने कहा, “हम भारत में रेल अधोसंरचना के लिए भी अपनी रणनीतिक में जरूरी बदलाव करेंगे।”
मोदी ने कहा कि वह भारत में दो चीनी औद्योगिक पार्क के समझौते और पांच साल में 20 अरब डॉलर के निवेश के वादे से काफी खुश हैं।
प्रधानमंत्री ने कहा, “मैंने अधोसंरचना और विनिर्माण क्षेत्र में चीन से निवेश करने का आग्रह किया। मुझे खुशी है कि भारत में दो चीनी औद्योगिक पार्क स्थापित होंगे।”
मोदी ने कहा, “पांच साल की आर्थिक और व्यापार विकास योजना एक महत्वपूर्ण कदम है।”
बाद में इंडियन काउंसिल फॉर वर्ल्ड अफेयर्स द्वारा आयोजित एक समारोह में शी ने कहा कि वह वार्ता के दौरान भारतीय प्रधानमंत्री के इस कथन से सहमत हैं कि दोनों देश ‘दो शरीर और एक आत्मा’ हैं।
शी ने कहा, “इन शब्दों से हमारे बीच के संबंध का पता चलता है।”
शी ने मोदी की सराहना करते हुए कहा कि देश उनके नेतृत्व में अच्छे हाथों में है।
शी ने कहा, “मोदी और मैं दोनों विकास के लिए अपने दोनों देशों के बीच मजबूत सहयोग के लिए सहमत हैं।”
गुरुवार को हस्ताक्षर किए गए प्रमुख समझौतों में से हैं : रेलवे में सहयोग, अंतरिक्ष और संस्कृति में सहयोग, दो औद्योगिक पार्क का वादा और अगले पांच साल में भारत में 20 अरब डॉलर का निवेश।