इस्लामाबाद, 23 जनवरी (आईएएनएस)। पाकिस्तानी प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने वित्त मंत्रालय को 4,000 करोड़ पाकिस्तानी रुपये (लगभग 40 करोड़ डॉलर) की तत्काल व्यवस्था करने का आदेश दिया है।
शुक्रवार को मीडिया में आई एक रपट के मुताबिक सरकार ने देश में जारी ईंधन संकट की वजह से अगले दो महीने के लिए पेट्रोल और भट्ठी तेल आयात के लिए यह आदेश दिया है।
‘डॉन’ की रपट के मुताबिक, शरीफ ने गुरुवार को वित्त मंत्रालय को निर्देश दिया कि कम से कम इतने धन का बंदोबस्त किया जाए ताकि पेट्रोल और भट्टी तेल के 10 टैंकर पोतों का आयात किया जा सके।
पेट्रोलियम मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी के मुताबिक सरकार के प्रयासों से लाहौर, फैसलाबाद और रावलपिंडी में पेट्रोल की आपूर्ति सामान्य करने में मदद मिलेगी। लेकिन उन्होंने यह स्वीकार किया कि पंजाब क्षेत्र के छोटे शहर और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर के बड़े शहर पेट्रोल और तेल की वास्तविक कमी का सामना कर रहे थे।
अधिकारी के मुताबिक, “बेशक, सरकार की शीर्ष प्राथमिकता बड़ी आबादी की समस्याओं को कम करना है और देश भर में पेट्रोल की आपूर्ति की पूर्ण बहाली में कुछ समय लगेगा।”
लाहौर से एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि शहर में आपूर्ति आम तौर पर सामान्य है, क्योंकि छोटे शहरों को जाने वाली आपूर्तियों को प्रादेशिक राजधानी में इस्तेमाल किया जा रहा है।
इस्लामाबाद में हालांकि आपूर्ति सामान्य है, लेकिन रावलपिंडी में पेट्रोल पंपों पर वाहनों की लंबी कतारें देखी गईं, जहां प्रत्येक वाहन को 10-15 लीटर ईंधन ही मिल रहा था।
पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर के रावलकोट में पाकिस्तान स्टेट ऑयल (पीएसओ) के एक ईंधन केंद्र के मालिक ने कहा कि 17 जनवरी से पेट्रोल स्टेशन पर कोई पेट्रोल टैंकर नहीं आया है और लगभग सभी अन्य पंपों में भी यही समस्या है।
अधिकारियों के मुताबिक प्रधानमंत्री को यह जानकारी दी गई है कि कुछ दिनों पहले वित्त मंत्रालय द्वारा जारी किए गए 1,700 करोड़ पाकिस्तानी रुपये में से 1,500 करोड़ पाकिस्तानी रुपये पीएसओ को उपलब्ध कराए गए।
इससे पीएसओ को पेट्रोल के दो जहाजों की व्यवस्था करने में मदद मिली, जिनमें से एक जहाज 26 जनवरी को कराची पहुंच सकती है।
सरकार ने पीएसओ को किसी तरह की कमी की पुनरावृत्ति से बचने के लिए 26 जनवरी से तीन फरवरी के बीच पेट्रोल की दैनिक आपूर्ति 7,000 टन से बढ़ा कर 8,500 टन किए जाने को कहा है।
पेट्रोलियम सचिव अरशद मिर्जा ने कहा कि बिजली कटौती में वृद्धि को टालने के लिए भट्ठी तेल के उचित भंडारण की व्यवस्था कर ली गई है।