श्रीनगर, 22 फरवरी (आईएएनएस)। जम्मू एवं कश्मीर के पंपोर कस्बे में सुरक्षाकर्मियों और आतंकियों के बीच मुठभेड़ 48 घंटे के बाद सोमवार को खत्म हो गई। सुरक्षाकर्मियों का कहना है कि जम्मू एवं कश्मीर उद्यमिता विकास संस्थान (जेकेईडीआई) में छिपे तीन आतंकियों को मार गिराया गया है। मुठभेड़ में पांच सुरक्षाकर्मी शहीद हुए हैं। एक नागरिक की भी मौत हुई है।
पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने आईएएनएस को बताया, “सुरक्षाकर्मियों ने पंपोर के जेकेईडीआई परिसर में तीन आतंकवादियों को मार गिराया है। इनके शव मिल गए हैं।”
अधिकारी ने कहा, “गोलीबारी अब रुक गई है। अब इस बहुमंजिला इमारत के एक-एक कमरे की तलाशी ली जा रही है।”
गोलीबारी शनिवार शाम शुरू हुई थी, जब हथियारों से लैस आतंकवादियों ने श्रीनगर-जम्मू राष्ट्रीय राजमार्ग पर सेम्पोरा (पंपोर) में सीआरपीएफ की बस पर हमला कर दिया था।
इस हमले में सीआरपीएफ कांस्टेबल भोला प्रसाद और चालक कांस्टेबल आर.के.राणा की मौत हो गई। बस पर हमले के बाद आतंकवादी जेकेईडीआई परिसर में घुस गए।
सुरक्षाकर्मियों ने परिसर को घेर लिया। लेकिन, आतंकियों के खिलाफ कार्रवाई तभी शुरू की गई जब सभी 120 कर्मचारियों और प्रशिक्षुओं को परिसर से सुरक्षित निकाल लिया गया।
सेना ने अभियान की जिम्मेदारी संभाली। माना जा रहा है कि आतंकियों का संबंध लश्कर-ए-तैयबा से था।
हरियाणा के जींद से ताल्लुक रखने वाले 10 पैरा रेजिमेंट के कैप्टन पवन कुमार और जम्मू क्षेत्र के ऊधमपुर शहर से संबंध रखने वाले 9 पैरा रेजिमेंट के कैप्टन तुषार महाजन ने अभियान की अगुआई की। लेकिन, बहुमंजिला इमारत में दाखिल होने के दौरान दोनों अफसर आतंकियों की गोली का निशाना बनकर शहीद हो गए।
9 पैरा रेजिमेंट के लांस नायक ओम प्रकाश कार्रवाई के दौरान घायल हो गए। उन्होंने रविवार को अस्पताल में दम तोड़ दिया।
इस मुठभेड़ में जान गंवाने वालों में गुंदिपोरा पुलवामा के निवासी अब्दुल गनी मीर भी शामिल हैं। वह इस संस्थान में माली थे। मुठभेड़ की चपेट में आने से उनकी मौत हो गई।
सीआरपीएफ के सहायक कमांडेंट समेत 15 सुरक्षाकर्मी मुठभेड़ में घायल हुए हैं।
पंपोर में सोमवार को प्रदर्शनकारियों और सुरक्षाकर्मियों के बीच भिड़ंत में 15 प्रदर्शनकारी घायल हो गए। प्रदर्शनकारियों ने कर्फ्यू जैसे प्रतिबंधों को तोड़ते हुए मुठभेड़ स्थल की तरफ जाने की कोशिश की थी।