जोखांग मंदिर- तिब्बत की राजधानी ल्हासा के बीच में स्थित प्रमुख बौद्ध मठ है। झेनशेंग यहां तिब्बत स्वायत्त क्षेत्र के गठन की 50वीं वर्षगांठ के जश्न के लिए पहुंचे केंद्र सरकार के प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व कर रहे हैं।
चीन के पीपुल्स पॉलिटिकल कंसल्टेटिव कांफ्रेंस की राष्ट्रीय समिति के अध्यक्ष झेनशेंग ने कहा, “पिछले आधे दशक में तिब्बती धार्मिक समुदाय के लोगों ने सीपीसी के नेतृत्व, समाजवादी प्रणाली को बरकरार रखा है और राष्ट्रीय एवं जातीय एकता, धार्मिक एवं सामाजिक सौहार्द में महत्वपूर्ण योगदान दिया है।” जोखांग मंदिर के लगभग 100 भिक्षुओं ने झेनशेंग और उनके प्रतिनिधिमंडल का स्वागत किया।
यू इस 1,341 साल पुराने जोखांग मंदिर में एक बैनर लेकर पहुंचे। इस बैनर पर चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग का संदेश लिखा हुआ था, “जातीय एकजुटता बढ़ाकर, एक मनोरम तिब्बत का निर्माण”। झेनशेंग अपने साथ एक रंगबिरंगा गुलदान भी लेकर पहुंचे, जो शांति का प्रतीक है। उन्होंने भिक्षुओं को दान भी दिया।
राष्ट्रपति शी और उनका केंद्रीय प्रशासन तिब्बती बौद्धों की देखरेख में संलग्न रहा है। शी ने जून में 11वें पंचेन लामा बेनकेन एरदिनी कोइगईजाबू से मुलाकात की। केंद्रीय प्रशासन ने तिब्बत में क्षेत्रीय स्थाई विकास और चिस्थाई स्थिरता की योजनाओं के लिए एक बैठक का भी संचालन किया था।