कोलकाता, 30 जनवरी (आईएएनएस)। जबरन धर्मातरण पर जोरदार हमला बोलते हुए पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने शुक्रवार को भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) को ललकारते हुए उन्हें देश के धर्मनिरपेक्ष संविधान को संशोधित करने की चुनौती दी।
कोलकाता, 30 जनवरी (आईएएनएस)। जबरन धर्मातरण पर जोरदार हमला बोलते हुए पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने शुक्रवार को भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) को ललकारते हुए उन्हें देश के धर्मनिरपेक्ष संविधान को संशोधित करने की चुनौती दी।
ममता ने कहा, “आखिर क्यों कोई अन्य को धर्मातरण के लिए बाध्य करता है? किसने उन्हें यह जवाबदेही दी है? कुछ लोग कहते हैं कि यह धर्म अच्छा है और यह खराब। इस धर्म के लोग के चलाए रिक्शा पर नहीं बैठिए..इत्यादि।”
मुख्यमंत्री ने कहा, “वे लोगों को नियंत्रित कर रहे हैं, वे नहीं जानते कि जब आप सत्ता में हैं तो सबसे पहले आप सुशासन लाएं। सुशासन का मतलब दूसरे पर नियंत्रण करना कतई नहीं है। आप दूसरे के अधिकार को नियंत्रित नहीं कर सकते।”
एक समारोह को संबोधित करने के दौरान बनर्जी ने कहा, “धर्मनिरपेक्षता संविधान में प्रतिष्ठापित है। यदि आप यही (नियंत्रण) करना चाहते हैं और यदि आपके पास दम है तो जाएं और संविधान को संशोधित करें, इसे बदलें..”
तृणमूल कांग्रेस की प्रमुख की यह टिप्पणी विश्व हिंदू परिषद (विहिप) के प्रमुख प्रवीण तोगड़िया और संचालक जुगल किशोर के खिलाफ धार्मिक भावना पर आघात करने को लेकर एफआईआर दर्ज किए जाने एक दिन बाद की गई है।
विहिप नेताओं पर पश्चिम बंगाल में जनजाति समुदाय के 100 से ज्यादा लोगों के कथित धर्मातरण कराने आरोप है।
बनर्जी ने कहा, “जनजाति समुदाय के लोग हमारे गौरव हैं। उन्हें धर्मातरित होने के बाद क्या मिलेगा। वे अपने बारे में खुद फैसला लेंगे।”
तृणमूल ने आरोप लगाया था कि विहिप ने रामपुरहाट जिले के खरमादाना गांव में बुधवार को ‘घर वापसी’ कार्यक्रम किया था जिसमें करीब 150 ईसाइयों का ‘जबरन’ धर्मातरण कराया गया।