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 चरमपंथियों के लिए श्रीलंका में कोई जगह नहीं: राजपक्षे | dharmpath.com

Monday , 21 April 2025

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चरमपंथियों के लिए श्रीलंका में कोई जगह नहीं: राजपक्षे

srilanka_rajapaksaकोलंबो। गृहयुद्ध के दौरान तमिलों पर अत्याचार के आरोपों के लिए श्रीलंका सरकार पूरी दुनिया से आलोचना झेल रही है। अब मुस्लिमों पर हमलों से हुई किरकिरी के बाद श्रीलंका के राष्ट्रपति महिंदा राजपक्षे ने पहली बार जवाब देते हुए कहा कि देश में जाति और धर्म के नाम पर उन्माद फैलाने वालों के लिए कोई जगह नहीं है।

दक्षिणी शहर वेहरहेना में शनिवार को एक धार्मिक सभा में राजपक्षे ने कहा, श्रीलंका लोकतांत्रिक राष्ट्र है। यहां सबको बराबरी का हक है। जनता बिना किसी भेदभाव के अपनी बात रख सकती है। बहुसंख्यक बौद्ध समुदाय की यह जिम्मेदारी है कि वह दूसरे धर्मो को पर्याप्त सम्मान दे। श्रीलंका में चरमपंथियों को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। यदि हम देश में चरमपंथियों को पनपने देंगे तो श्रीलंका के ऊपर गलत आरोप लगा रहे लोगों को बल मिलेगा।

राजपक्षे ने कहा, हम सभी अपने देश से प्यार करते हैं। इसलिए हमें देश की जातीय और धार्मिक सद्भावना को बचाकर रखना होगा। हाल में मुस्लिम व्यापारियों पर हुए हमलों के बाद राजपक्षे को यह अपील करनी पड़ी है। बोडु बाला सेना नामक बौद्ध संगठन मुस्लिमों के खिलाफ अभियान चला रहा है। सेना का आरोप है कि मुस्लिम चरमपंथ फैला रहे हैं। देश की दो करोड़ आबादी में करीब 20 लाख मुस्लिम हैं। सिंहली बौद्धों की आबादी 1.40 करोड़ से भी ज्यादा है। तमिल हिंदू 26 लाख के आस-पास हैं।

चरमपंथियों के लिए श्रीलंका में कोई जगह नहीं: राजपक्षे Reviewed by on . कोलंबो। गृहयुद्ध के दौरान तमिलों पर अत्याचार के आरोपों के लिए श्रीलंका सरकार पूरी दुनिया से आलोचना झेल रही है। अब मुस्लिमों पर हमलों से हुई किरकिरी के बाद श्रील कोलंबो। गृहयुद्ध के दौरान तमिलों पर अत्याचार के आरोपों के लिए श्रीलंका सरकार पूरी दुनिया से आलोचना झेल रही है। अब मुस्लिमों पर हमलों से हुई किरकिरी के बाद श्रील Rating:
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