अमेठी, 15 सितंबर – अमेठी रियासत की विरासत को लेकर महाराज और युवराज के बीच टकराव की स्थिति कम होने के बजाय बढ़ती जा रही है। रविवार को मचे बवाल के बाद कांग्रेस सांसद डॉ. संजय सिंह अपनी दूसरी पत्नी अमिता सिंह के साथ सोमवार को मीडिया के सामने आए। उन्होंने अपनी पहली पत्नी गरिमा और समधिन को पूरे विवाद का दोषी ठहराते हुए अनंत विक्रम सिंह को बरगलाने का आरोप लगाया।
संजय सिंह ने कहा, “तीनों बच्चों की परवरिश मैंने की। 18 साल तक बच्चे हमारे साथ रहे। तब तक कोई संपत्ति विवाद सामने नहीं आया।”
राज्यसभा सदस्य ने कहा कि इधर एक-डेढ़ साल से जब गरिमा सिंह और उनकी समधिन के साथ बेटे अनंत विक्रम का संपर्क हुआ तो उन लोगों ने अनंत को बरगलाकर विवाद खड़ा कर दिया।
मीडिया के सवालों का जवाब देते हुए संजय ने कहा कि एक तरफ तो अनंत इसे अपना घर कहते हैं, दूसरी तरफ सारे समाज के सामने अपने पूर्वजों की खिल्ली उड़ाते हैं। उन्होंने कहा कि समाचार माध्यमों से यह मालूम हुआ कि अनंत विक्रम पर अब 302 का मुकदमा दर्ज किया जा रहा है।
उन्होंने कहा, “अनंत अभी मेच्योर नहीं हैं। जब वह मेरे साथ थे तो उन्होंने अच्छी शिक्षा के अलावा मर्चेट नेवी की अच्छी नौकरी भी की।”
सांसद ने गरिमा सिंह और उनकी समधिन पर आरोप लगाते हुए कहा कि इन दोनों महिलाओं ने अनंत को बरगलाकर सारा विवाद खड़ा किया है।
वहीं, अमिता सिंह ने सवाल किया कि जब अनंत छोटे थे, तब गरिमा सिंह कहां थीं?
स्थानीय लोगों और पुलिस के बीच हिंसक झड़प में सिपाही विजय प्रताप मिश्र की मौत पर संजय सिंह ने गहरा दुख व्यक्त किया और कहा कि राजमहल के सामने इस तरह की घटना घोर निंदनीय है।
उधर, अनंत विक्रम भी मीडिया के सामने आए और जवाबी हमला कर उन्होंने अपने पिता पर अमेठी छोड़ने और मां से संबंध तोड़ने का आरोप लगाते हुए सैय्यद मोदी हत्याकांड की सीबीआई जांच की मांग की।
उन्होंने कहा, “मेरे बच्चे बीमार पड़े थे, दिल्ली में उनके इलाज के लिए समुचित व्यवस्था नहीं की गई, जबकि मैंने पिता से मदद मांगी थी। बच्चे की बीमारी की वजह से मुझे मर्चेट नेवी की नौकरी छोड़नी पड़ी।”
अनंत ने सिपाही की मौत के लिए संजय सिंह और अमिता सिंह (मोदी) को दोषी ठहराया। साथ ही आरोप लगया कि अगल-बगल के गांव के लोगों को इन्हीं लोगों ने प्रशासनिक अधिकारियों से प्रताड़ित कराके गांव से बाहर निकलवा दिया। आखिर उन भोले भाले ग्रामीणों का दोष क्या था?
इसके बाद पत्रकारों से रूबरू हुईं गरिमा सिंह ने रविवार की घटना की घोर निंदा की और पूरे प्रकरण की सीबीआई जांच की मांग कर डाली। उन्होंने कहा, “25 जुलाई को मजबूरी में मुझे तब यहां आना पड़ा, जब मेरे बच्चों को उनके अधिकारों से वंचित किया जा रहा था।”
उन्होंने अनंत विक्रम को भूपति भवन में रहने देने और उनकी रोजी-रोटी की व्यवस्था की मांग की। वहीं अनंत विक्रम की पत्नी ने भी पूरे मामले में अमिता को दोषी ठहराया।
इस बीच कमिश्नर विशाल चौहान और डीआईजी एन. चौधरी ने घटनास्थल का निरीक्षण किया। उन्होंने डीएम जगतराज त्रिपाठी, पुलिस अधीक्षक हीरालाल और एसडीएम आर.डी. राम को आवश्यक दिशा निर्देश दिए। रैपिड एक्शन फोर्स और पीएसी के जवानों से मिलकर मामले की जानकारी जुटाई।