नई दिल्ली, 19 अगस्त (आईएएनएस)। इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) क्लब किंग्स इलेवन पंजाब की सह-मालकिन प्रीति जिंटा मीडिया में उन खबरों को लेकर बुधवार को भड़क उठीं, जिनमें कहा गया है कि प्रीति ने अपनी टीम के कुछ खिलाड़ियों पर मैच फिक्सिंग में संलिप्त होने का आरोप लगाया है।
बुधवार को ही कुछ मीडिया रपटों के अनुसार, प्रीति ने आठ अगस्त को हुई आईपीएल वर्किं ग ग्रुप की बैठक में भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) से कहा था कि किंग्स इलेवन पंजाब के कुछ खिलाड़ी टीम को हराने की मंशा से संदिग्ध गतिविधियों में शामिल हो सकते हैं।
मीडिया रपट के अनुसार, प्रीति ने बोर्ड से यह भी कहा था कि उन्हें ऐसा महसूस हुआ कि आईपीएल में उनकी टीम के कुछ मैच फिक्स थे और यह भी आरोप लगाया कि बीसीसीआई की भ्रष्टाचार निरोधी इकाई मैच फिक्सिंग जैसे मसले पर लगाम लगाने में असक्षम है।
इस बैठक में आईपीएल के अन्य साझेदारों के अलावा वर्किं ग ग्रुप के चारो सदस्य (आईपीएल के चेयरमैन राजीव शुक्ला, बीसीसीआई सचिव अनुराग ठाकुर, बीसीसीआई के कोषाध्यक्ष अनिरुद्ध चौधरी और भारतीय टीम के पूर्व कप्तान सौरभ गांगुली) भी मौजूद थे।
प्रीति ने बुधवार को ही इन खबरों का जोरदार तरीके से खंडन किया और कहा कि बीसीसीआई अधिकारियों के साथ उनकी बातचीत को गलत तरीके से पेश किया गया।
प्रीति ने लगातार कई ट्वीट कर मीडिया रपट की कड़े शब्दों में निंदा की।
प्रीति ने ट्वीट किया, “इंडियन एक्सप्रेस में तथ्यहीन, बेहद गैरजिम्मेदाराना और गलत मंशा से प्रकाशित खबर देखकर मैं बिल्कुल स्तब्ध हूं।”
उन्होंने आगे ट्वीट किया, “यह खबर पूरी तरह गलत है, गलत आरोप लगाने वाला, तथ्यहीन और गैरजिम्मेदारीपूर्ण है। पुख्ता जानकारी के बिना इस तरह की गलत खबरें प्रकाशित करना बंद करें।”
अगले ट्वीट में प्रीति ने कहा, “मैंने बीसीसीआई को खिलाड़ियों का रैंडम तरीके से पोलीग्राफ टेस्ट करवाने की राय दी थी, ताकि कोई भी मैच फिक्सिंग के बारे में सोचे भी न। मेरा मानना है कि बचाव इलाज से बेहतर होता है। निश्चित तौर पर इंडियन एक्सप्रेस, एबीपीन्यूजहिंदी और एबीपीन्यूजटीवी ने खबर को तोड़ मरोड़ कर पेश किया।”