श्रीनगर, 17 अक्टूबर (आईएएनएस)। जम्मू एवं कश्मीर में सिखों के एक संगठन ‘गुरमत टकसाल जे एंड के’ ने पंजाब प्रांत में गुरु गं्रथ साहिब को कथित तौर पर अपवित्र करने के विरोध में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का पुतला फूंका और दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की।
लगभग दो दर्जन प्रदर्शनकारियों ने यहां प्रदर्शन किया और घटना की निंदा करते हुए इसे दुखद और भड़ाकाऊ करार दिया।
‘गुरमत टकसाल’ के प्रमुख सुखबीर सिंह ने कहा, “गुरु ग्रंथ साहिब के पन्नों को फाड़ना और उनका अपमान करना अब बेहद आम हो गया है। सिख समुदाय इसे बर्दाश्त नहीं करेगा। ऐसे अधर्मियों के खिलाफ अगर कार्रवाई नहीं की गई तो यह हमारे लिए जीवन-मरण का प्रश्न हो जाएगा।”
उल्लेखनीय है कि पंजाब के फरीदकोट जिले में बुधवार को सिख प्रदर्शनकारियों पर पुलिस द्वारा की गई गोलीबारी में दो लोगों की मौत हो गई थी और कई अन्य घायल हो गए थे। प्रदर्शनकारी समुदाय के पवित्र ग्रंथ, गुरु गं्रथ साहिब को अपवित्र करने के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे थे।
सुखबीर सिंह ने कहा, “पंजाब सरकार और केंद्र सरकार दोनों ही दोषियों को पकड़ने में नाकाम रहे हैं। इससे सिखों की भावना आहत हुई है।”
सिंह ने कहा, “हाल ही में गुरु गं्रथ साहिब के सरूप की चोरी कर ली गई थी। ऐसी घटनाएं सांप्रदायिक अशांति फैला सकती हैं। सिख समुदाय शांतिप्रिय है, लेकिन न्याय जरूरी है।”
प्रदर्शनकारियों ने कहा कि गुरु ग्रंथ साहिब को अपवित्र किए जाने के पीछे राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ(आएएस) और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के लोगों का हाथ है, जो पंजाब की गठबंधन सरकार का हिस्सा हैं।
प्रदर्शनकारियों के मुताबिक, “आरएसएस और भाजपा देश में साम्प्रदायिक माहौल को भड़का रहे हैं और अल्पसंख्यक असुरक्षित महसूस कर रहे हैं। इससे भारत की प्रजातांत्रिक और बहुलवादी प्रकृति पर सवाल खड़ा हो गया है।”
प्रदर्शनकारियों ने खालिस्तान समर्थक और भाजपा विरोधी नारे लगाए।
घटनास्थल पर बड़ी संख्या में पुलिस कर्मियों के पहुंचने के बाद प्रदर्शनकारी शांतिपूर्वक वहां से चले गए।