दिल्ली में अरविंद केजरीवाल के सत्ता में आते ही भ्रष्टाचार निरोधक शाखा (एसीबी) हरकत में आ गया है। सरकार गठन होने के 11 दिनों के भीतर एक बार फिर तीन लोगों को गिरफ्तार किया गया है।
इस बार दिल्ली सरकार के दीन दयाल उपाध्याय (डीडीयू) अस्पताल में सर्जिकल समान की खरीद में हुए घोटाले के सिलसिले में गिरफ्तारी हुई। अहम यह है कि 46 लाख के इस घोटाले में एफआईआर दर्ज होने के एक साल बाद कार्रवाई की गई है।
अस्पताल के सर्जिकल सामानों के खरीद फरोख्त में गड़बड़ी के इस मामले में एसीबी ने डीडीयू के पूर्व चिकित्सा अधीक्षक डॉ. सर्वेश भट्टाचार्य के अलावा परचेज ऑफिसर कृष्णा महाली व डीलिंग हेड रमेश चंद्र शर्मा को गिरफ्तार किया है।
सूत्रों की मानें तो इस मामले में कुछ और डॉक्टरों को दबोचा जा सकता है। गड़बड़ी का यह पूरा मामला 2011 का है। सतर्कता विभाग से मामले की शिकायत नवीन कुमार नामक व्यक्ति ने की थी।
उसके मुताबिक डीडीयू में ऑपरेशन के दौरान प्रयोग होने वाले ग्लव्स और ड्रेसिंग के समानों की खरीदारी में वित्तीय गड़बड़ी र्हुई है। शिकायत के आधार पर सतर्कता विभाग ने पहले अपने यहां वर्ष 2012 में एफआईआर 1/12 दर्ज की।
जांच के दौरान टेंडर प्रक्रिया में भी गड़बड़ी की बात सामने आई। लेकिन उस एफआईआर के बाद भी कोई कार्रवाई नहीं की गई। इसके बाद फिर वर्ष 2013 में एसीबी ने एफआईआर संख्या 4/13 दर्ज की।
इसके बाद जांच चलती रही। लेकिन केजरीवाल की सरकार बनने के बाद ही बुधवार को एसीबी की टीम ने इस मामले में तीन लोगों को गिरफ्तार कर लिया।