नई दिल्ली, 25 फरवरी (आईएएनएस)। रेलमंत्री सुरेश प्रभु ने गुरुवार को कहा कि रेल विभाग वर्ष 2020 तक आम आदमी की समस्त आशाएं पूरी करने में समर्थ हो जाएगा। आम आदमी तब तक इंतजार करे।
संसद में वर्ष 2016-17 का रेल बजट पेश करते हुए रेलमंत्री ने कहा कि भारतीय रेलवे साल 2020 तक लोगों की समस्त आशाओं को पूरा कर सकेगी, जिनमें गाड़ियों में मांग के अनुसार आरक्षण उपलब्ध कराना, विश्वसनीय सेवा प्रतिबद्धता के साथ माल गाड़ियों को समय-सारणी के अनुसार चलाना और संरक्षा रिकॉर्ड में उल्लेखनीय सुधार के लिए उच्चस्तरीय तकनीक का इस्तेमाल करना शामिल है।
इसके अलावा, भारतीय रेलवे बिना चौकीदार वाले सभी रेलवे क्रॉसिंग को समाप्त करने, समय पालन को बढ़ाकर लगभग 95 प्रतिशत तक पहुंचाना, मालगाड़ियों की औसत गति को 50 किलोमीटर प्रति घंटे एवं मेल-एक्सप्रेस गाड़ियों की औसत गति को 80 किलोमीटर प्रति घंटे तक बढ़ाना, स्वर्णिम चतुर्भुज पर सेमी हाई स्पीड गाड़ियां चलाना और गाड़ियों से मल-मूत्र के सीधे डिस्चार्ज को समाप्त करने को लेकर कृतसंकल्प है।
रेल बजट पेश करते वक्त अपनी सोच का उल्लेख करते हुए मंत्री ने कहा कि रेलवे को भारत के नागरिकों को एक ऐसी रेल सेवा मुहैया करानी चाहिए, जिस पर वे गर्व कर सकें।
उन्होंने कहा कि रेलवे का उद्देश्य अपने यात्रियों को ऐसी सेवा मुहैया करना है, जो सीमित क्षमता और गति के अवरोधों से मुक्त हो, कुशल और लोगों की आकांक्षाओं पर खरी उतरने वाली, शानदार एवं यादगार एवं आरामदायक हो।
मंत्री ने कहा कि वह डॉ. विवेक देबरॉय की अध्यक्षता वाली समिति सहित विभिन्न समितियों के आभारी हैं, जिनकी सिफारिशें हमारे विजन का आधार रही हैं।