भोपाल, 12 मई (आईएएनएस)। मध्य प्रदेश में कुपोषण रोकना चुनौती बन गया है। इस पर काबू पाने के लिए राज्य में विभिन्न योजनाएं चलाई जा रही हैं। इस दिशा में ‘स्नेह सरोकार’ कार्यक्रम एक सफल प्रयास साबित हो रहा है। इसमें सहयोग करने वालों को मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की ओर से धन्यवाद पत्र भेजा जाएगा।
राज्य के महिला एवं बाल विकास विभाग की समीक्षा बैठक में सोमवार को मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कुपोषण रोकने के लिए चलाई जा रही योजनाओं का ब्यौरा मांगा। इस दौरान उन्होंने कहा कि कुपोषण दूर करना राज्य सरकार की पहली प्राथमिकता है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि कुपोषण की रोकथाम में समाज की भागीदारी बढ़ रही है। इस भागीदारी को और अधिक प्रोत्साहित किया जाना चाहिए। बैठक में तय हुआ कि बेहद कम वजन वाले बच्चों के पोषण स्तर में ‘स्नेह सरोकार’ कार्यक्रम के जरिए सुधार लाने में सहयोग करने वाले सभी 5,700 लोगों को मुख्यमंत्री का धन्यवाद-पत्र भेजा जाएगा।
चौहान ने बच्चों के भीख मांगने पर भी चिंता जताई और विभाग को निर्देश दिए कि प्रदेश में इसे रोकने के प्रयास किए जाएं। उन्होंने ग्रामीण महिलाओं एवं बालिकाओं में स्वास्थ्य शिक्षा के प्रसार-प्रचार के लिए विभाग के स्वास्थ्य विभाग के साथ समन्वय की जरूरत बताई।
बैठक में विभाग की ओर से ई-लाडली योजना की जानकारी देते हुए बताया गया कि इस योजना में बालिका के बेहतर स्वास्थ्य, उच्च शिक्षा और विवाह आदि के संबंध में 21 वर्ष की आयु तक निगरानी की जाएगी। लाडली लक्ष्मी योजना में अभी तक 20 लाख बालिकाओं को लाभान्वित किया गया है। देश के सात राज्यों ने योजना का अनुसरण किया है।