पेरिस, 15 नवंबर (आईएएनएस)। फ्रांस के जांचकर्ताओं ने पेरिस हमले में 129 लोगों की हत्या करने वाले इस्लामिक स्टेट (आईएस) के आतंकवादियों में से एक की पहचान कर ली है।
बीबीसी ने उसकी पहचान अपराधिक रिकॉर्ड वाले अल्जीरियाई मूल के 29 वर्षीय फ्रांसिसी नागरिक उमर इस्माइल मुस्तफई के रूप में की है। वह कट्टरपंथी के रूप में जाना जाता था।
फ्रांसीसी अभियोजकों के मुताबिक, पेरिस में शुक्रवार की रात छह स्थानों पर हुए हमलों को बंदूकधारियों और आत्मघाती हमलावरों की तीन टीमों ने अंजाम दिया था।
सुरक्षा बलों ने शनिवार को कहा कि हमले को अंजाम देने वाले सभी आठ आतंकवादी मारे गए हैं।
इस्लामिक स्टेट ने हमले की जिम्मेदारी ली है।
बीबीसी की रिपोर्ट के मुताबिक, एक बुरी तरह कटी उंगली के कारण मुस्तेफई को पहचाना गया है, जो कि बैटाक्लां कंसर्ट हॉल से बरामद हुई थी, जहां 80 से भी ज्यादा लोग मारे गए थे।
मुस्तेफई के भाई और पिता को हिरासत में ले लिया गया है।
आत्मसमर्पण के लिए एक पुलिस स्टेशन जाने के बाद गिरफ्तार किए गए मुस्तेफई के बड़े भाई ने बताया, “यह पागलपन है। मैं खुद भी पिछली रात पेरिस में था, मैंने देखा कि सब कुछ कितना अस्तव्यस्त था।”
बीबीसी के मुताबिक, स्थानीय सांसद और उप मेयर जीन-पियरे जॉर्ज्स ने कहा, “मुस्तेफई दक्षिणी पेरिस से 25 किमी दूर कोरकोरोन्नेस शहर से आया था और 2012 तक वह चार्ट्रेस के नजदीकी शहर में रहा।”
बीबीसी के मुताबिक, उसका अपराधिक रिकॉर्ड का इतिहास था, लेकिन उसे कभी गिरफ्तार नहीं किया गया था। सुरक्षा एजेंसियों ने उसे 2010 में कट्टरपंथी माना था, लेकिन उसकी कभी भी आतंकवाद विरोधी जांच नहीं की गई थी।
मुस्तेफई के भाई ने कहा कि पारिवारिक विवाद के कारण कई वर्षो से उससे कोई संपर्क नहीं था।
पेरिस में हमले के बाद फ्रांस में तीन दिन का राष्ट्रीय शोक घोषित किया गया है।
मीडिया में जारी रिपोर्टों में कहा गया है कि मृतकों और पीड़ितों के परिवारों और हमले में बचे लोगों के लिए पेरिस के नोट्रे डेम कैथ्रेडेल में एक विशिष्ट सेवा आयोजित की जाएगी।
प्रधानमंत्री मैनुएल वॉल्स ने कहा कि फ्रांस आईएस के खिलाफ सीरिया में हवाई हमले जारी रखेगा।
हमले के मद्देनजर राष्ट्रपति फ्रांस्वा ओलांद ने तुर्की में आयोजित जी20 सम्मेलन जाने की योजना रद्द कर दी।
बीबीसी के मुताबिक जांचकर्ता इस सिद्धांत पर काम कर रहे हैं कि हमलावरों की कोई अन्य टीम भी हो सकती है जो घटनास्थल से भागने में कामयाब रही।
प्रमुख अभियोजक फ्रेंकोइस मोलिन्स ने पत्रकारों को बताया, “इस स्तर पर हम कह सकते हैं कि इस बर्बरतापूर्ण हमले के पीछे शायद तीन समन्वित टीमें थीं। हमें यह जानना है कि वे कहां से आए और कहां से वित्त पोषित थे।”
ओलांद ने हमले के बाद आपातकाल की घोषणा कर दी थी।
आईएस ने कहा कि उसने सावधानी से चुने लक्ष्य के आधार पर हमलों को अंजाम दिया है और यह सीरिया और इराक में हवाई हमलों में फ्रांस के शामिल होने का जवाब है।