ताज के सामने काला ताज होने का सच अब सामने लगा है। मेहताब बाग में चल रहे उत्खनन में मुगलिया ‘खजाना’ निकलने लगा है।
बाग में यमुना किनारे स्थित दीवाल के बराबर में करीब छह मीटर की गहराई में मुगलकालीन फर्श मिला है। इसमें चूना और लाखौरी ईंटें लगी हुई हैं। बाग की दीवाल के सहारे यमुना नदी की तलहटी और अष्टकोणीय टैंक के समीप उत्खनन में मिल रहे पत्थर और धरती के गर्भ में दबा हुआ फर्श बाग यहां कभी भव्य स्मारक होने की कहानी बयां कर रहे हैं।
भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआइ) और वर्ल्ड मॉन्यूमेंट फंड में यमुना किनारे मेहताब बाग में रिवर फ्रंट गार्डन विकसित करने को करार हुआ है। मेहताब बाग का इतिहास ढूंढने को करीब सवा महीने से एएसआइ उत्खनन करा रहा है। यहां पूर्व में बाग की बुर्जी के सहारे कुएं वाली नींव, अष्टकोणीय टैंक का जमीन में धंसा भाग, यमुना की तलहटी व बाग में स्मारक के ध्वंसावशेष मिले हैं।
शनिवार को मेहताब बाग में स्मारक की यमुना किनारे दीवाल के सहारे ट्रेंच बनाकर चल रहे उत्खनन में छह मीटर नीचे निकले मुगलिया ‘खजाने’ ने भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण की उम्मीदें बढ़ा दी हैं। यहां उत्खनन में दीवाल के सहारे बना फर्श मिला है। फर्श और जगह-जगह से निकल रहे पत्थर बाग में कभी भव्य स्मारक होने की ओर इशारा कर रहे हैं।
एएसआइ ने बढ़ाया कार्य का दायरा
एएसआइ ने मेहताब बाग में अब कार्य का दायरा भी बढ़ा दिया है। अष्टकोणीय टैंक के समीप घास हटाने के साथ यमुना की तलहटी में दीवाल के बराबर में उगी झाड़ियां हटा दी गई हैं। कर्मचारियों की संख्या भी बढ़ा दी गई है, जिससे काम में तेजी आए।
सोमवार को निरीक्षण करेंगे पर्यटन मंत्री
केंद्रीय पर्यटन एवं संस्कृति राज्य मंत्री श्रीपाद नायक सोमवार को आगरा आ रहे हैं। शाम को वह मेहताब बाग में विकास कार्यो का निरीक्षण करेंगे। इसके साथ ही वह ताज हेरिटेज कॉरीडोर और पश्चिमी गेट पर चल रहे विकास कार्यो का निरीक्षण करेंगे।