अरुण कुमार
अरुण कुमार
वाशिंगटन, 21 अक्टूबर (आईएएनएस)। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री नवाज शरीफ के वाशिंगटन पहुंचने के बीच अमेरिका ने साफ कर दिया है कि उसकी प्राथमिकता पाकिस्तान के उन चरमपंथी तत्वों से निपटने की है जो ‘आतंकवाद की भयावह वारदात को अंजाम दे रहे हैं।’
व्हाइट हाउस के प्रवक्ता जोश अर्नेस्ट ने संवाददाताओं से कहा, “अमेरिका का पाकिस्तान के साथ महत्वपूर्ण सुरक्षा रिश्ता है। दोनों देशों के सुरक्षा बल अमेरिका और पाकिस्तान की राष्ट्रीय सुरक्षा को बेहतर बनाने के लिए प्रभावी तरीके से समन्वय बनाते रहे हैं।”
उन्होंने कहा, “राष्ट्रपति बराक ओबामा (पाकिस्तान के प्रधानमंत्री से) बातचीत के दौरान इस संबंध में भी विचार पेश करेंगे कि दोनों देशों के सुरक्षा हितों की बेहतरी के लिए पाकिस्तान और क्या कुछ कर सकता है।”
ओबामा और नवाज की मुलाकात गुरुवार को होगी।
अर्नेस्ट ने कहा, “साफ है कि पाकिस्तान में ऐसे चरमपंथी तत्व हैं जो आतंकवाद की भयावह वारदातों को अंजाम देते रहते हैं। इनसे निपटना हम दोनों देशों की साझी प्राथमिकता में शामिल हैं।”
उन्होंने कहा कि यह एक ऐसा खतरा है जिससे सबसे पहले पाकिस्तान को निपटना होता है और यही पाकिस्तान के साथ हमारे सुरक्षा रिश्तों की महत्ता को साफ कर देता है।
अर्नेस्ट ने संकेत दिया कि ओबामा इस बात पर भी चर्चा करेंगे कि अफगानिस्तान की शांति प्रक्रिया में तालिबान को शामिल करना होगा।
अर्नेस्ट ने कहा, “अफगान सरकार और तालिबान के बीच शुरुआती दौर की समझौता वार्ता की मेजबानी दरअसल पाकिस्तान सरकार ने पाकिस्तान में ही की थी। इससे साफ है कि पाकिस्तान सरकार शांति की कोशिशों को कितना महत्व देती है और हमें इस बात की खुशी है।”
अर्नेस्ट से पूछा गया कि क्या अमेरिकी प्रशासन मानता है कि पाकिस्तान, अफगानिस्तान में चरमपंथियों को काबू में करने की पर्याप्त कोशिश नहीं कर रहा है? जवाब में अर्नेस्ट ने कहा कि अमेरिका और पाकिस्तान के रिश्तों में कुछ चढ़ाव हैं तो कुछ उतार भी हैं।
उन्होंने कहा कि ओबामा चाहते हैं कि विश्व के उस इलाके में चरमपंथियों से निपटने जैसे समान हितों के मुद्दों पर दोनों देशों के रिश्तों में और बेहतरी आए। यह अमेरिका के हित में है कि पाकिस्तान चरमपंथियों के खिलाफ संघर्ष में सफल हो।