(धर्मपथ)-आज भोपाल में दिग्विजय सिंह ने विधानसभा में पत्रकारों को संबोधित किया और शिवराज सिंह चौहान को ताल ठोक चुनौती दी.अपनी लम्बी प्रेस वार्ता में दिग्विजय सिंह ने अपने चिरपरिचित अंदाज में शिवराज पर हमला बोला.
दिग्विजय का मुद्दा शिवराज सिंह के कार्यकाल में हुए भ्रष्टाचार,उनके परिवार और रिश्तेदारों का अकूत संपत्ती कमाना और व्यापं के इर्द गिर्द रहा.
संघ और भाजपा नेताओं पर लगाये आरोप
दिग्विजय ने कहा की भाजपा शासन में संघ के नेता,भाजपा के नेता और प्रशासनिक अधिकारी जनता को चूसने में लगे हैं.व्यापम् घोटाले में 2004 के बाद व्यवस्था बदली गयी और फर्जीवाड़ा करने का नया रास्ता ईजाद किया गया.पुलिस भर्ती में शारीरिक दक्षता को हटाया गया ताकि अपने लोगों को भर्ती किया जा सके.
वकील पुष्पेन्द्र कौरव की नियुक्ति पर उठाये सवाल
दिग्विजय ने कहा की विडंबना है की चोर और पुलिस दोनो का वकील एक ही है,पुष्पेन्द्र कौरव किसकी पैरवी करते हैं पता ही नहीं चलता,इनाम के तहत उन्हे उच्च पद पर बैठा दिया गया.एसआईटी के गठन पर भी सवाल उठे.
संघ के सुरेश सोनी पर भी उठायी उंगली
पुलिस रिपोर्ट में दर्ज सुरेश सोनी का नाम आते हुए भी उन्हे गिरफ्तार ना करना शंका का विषय है.शिवराज सिंह ने एसटीएफ की बैठक निवास पर ली और जांच को प्रभावित किया.सुधीर शर्मा को दो दफे बुलाकर भी गिरफ्तार ना करना दबाव पुलिस पर है बताता है.
शिवराज के साले,भाई और रिश्तेदारों को कठघरे में खड़ा किया
दिग्विजय ने कहा की शिवराज के साले संजय,भाई नरेन्द्र मास्साब और रिश्तदारों ने अकूत संपत्ती बनाई है इसकी जांच होगी तो शिवराज जवाब नहीं दे पायेगे.
दिग्विजय सिंह को शिवराज की बातों पर भरोसा नहीं
उन्होने कहा की शिवराज सिंह ने माँ नर्मदा में गले तक खड़े हो संकल्प लिया था की अविवाहित रहेंगे लेकिन अपनी बात पर कायम नहीं रहे,उन्होने कहा की हमें खुशी हुई की एक सुशील बहू वे घर लाये.दिग्विजय ने कहा की मैने 10 वर्ह राजनीति ना करने का संकल्प किया था और मैने उसे पूरा किया लेकिन शिवराज की बातों का भरोसा नहीं.
माखनलाल की नियुक्तियों पर भी बोले दिग्विजय
आरोप लगाते हुए दिग्विजय बोले की मेरी,उमा भारती,बाबूलाल गौर और शिवराज के समय की नियुक्तियों की जांच सीबीआई से होनी चाहिये इनमें माखनलाल की नियुक्तियाँ भी शामिल होनी चाहिये.