हैदराबाद, 9 मार्च (आईएएनएस)। तेलंगाना में विधानसभा की कार्यवाही बाधित किए जाने के कारण विपक्षी तेलुगू देशम पार्टी (तेदेपा) के 10 विधायकों को सोमवार को पूरे बजट सत्र के लिए निलंबित कर दिया गया।
राज्य के संसदीय कार्य मंत्री टी. हरीश राव ने इस संबंध में प्रस्ताव पेश किया, जिसके बाद विधानसभा अध्यक्ष एस. मधुसूदन चारी ने तेदेपा विधायकों को निलंबित करने की घोषणा की।
जैसे ही सदन की कार्यवाही शुरू हुई, राव ने सात मार्च को सदन के संयुक्त सत्र में राज्यपाल के संबोधन के दौरान अमर्यादित बर्ताव से राष्ट्रगान का अपमान करने के मामले में विधायकों से माफी मांगने के लिए कहा।
वहीं, तेदेपा के सदस्य राज्यपाल के संबोधन के दौरान विपक्षी सदस्यों पर कथित हमले के लिए सत्तारूढ़ तेलंगाना राष्ट्र समिति (टीआरएस) के विधायकों के खिलाफ कार्रवाई की मांग को लेकर नारेबाजी करते हुए विधानसभा अध्यक्ष की आसंदी के पास पहुंच गए।
इसी हंगामे के बीच राव ने तेदेपा विधायकों के निलंबन का प्रस्ताव रखा, जिसे ध्वनि मत से स्वीकार कर लिया गया।
प्रमुख विपक्षी दल कांग्रेस के संपत कुमार ने सदन से माफी मांगी। उन्होंने सफाई में कहा कि राष्ट्रगान का अनादर जानबूझकर नहीं किया गया।
दिन की शुरुआत में विधानसभा अध्यक्ष द्वारा बुलाई की सर्वदलीय बैठक में फैसला लिया गया कि राष्ट्रगान का अनादर करने वाले सदस्यों को माफी मांगनी चाहिए।
यह निर्णय उनके द्वारा राज्यपाल के संबोधन की वीडियो फुटेज दिखाए जाने के बाद लिया गया।
उल्लेखनीय है कि राज्यपाल के संबोधन से पूर्व और उसके बाद राष्ट्रगान बजने के दौरान कुछ विपक्षी विधायकों ने नारेबाजी करते हुए सदन की कार्रवाई में बाधा डाली थी।
विपक्ष के नेता के. जना रेड्डी ने कहा कि पूरी फुटेज देखनी चाहिए और सदस्य किस पार्टी से हैं, इस पर विचार किए बिना अमर्यादित बर्ताव करने वाले सभी सदस्यों के खिलाफ कार्रवाई की जानी चाहिए।
वहीं, तेलंगाना के मुख्यमंत्री के.चंद्रशेखर राव ने कहा कि अगर उनकी पार्टी के सदस्य राष्ट्रगान का करते हैं या अमर्यादित व्यवहार में संलिप्त पाए जाते हैं, तो वे भी नहीं बख्शा जाएंगे।
निलंबित तेदेपा विधायकों के बचाव में राव ने कहा कि यह सुनिश्चित करने के लिए कि सदन की कार्यवाही सुचारू रूप से चले, अगर और सख्त कदम उठाने की जरूरत पड़ी, तो वो भी उठाए जाएंगे।
उन्होंने तेदेपा विधायकों के सदन की कार्यवाही में खलल डालने की निंदा की और कहा, “हम बहुत सख्त हो जाएंगे।”
तेदेपा विधायकों ने बाद में अपने निलंबन के विरोध में विधानसभा के प्रवेश द्वार पर प्रदर्शन किया।