पणजी, 18 जून (आईएएनएस)। आम आदमी पार्टी (आप) की गोवा इकाई ने गुरुवार को आरोप लगाया कि राज्य के लोक निर्माण विभाग मंत्री रामकृष्ण उर्फ सुदीन धावलिकर की विज्ञान में स्नातक (बीएससी) की डिग्री फर्जी है। आप के आरोपों को सुदीन की पार्टी ने निराधार बताया, वहीं मुख्यमंत्री लक्ष्मीकांत पारसेकर ने कहा कि मंत्री बनने के लिए शिक्षा कोई मापदंड नहीं है।
आप पार्टी ने मंत्री सुदीन को उसके आरोपों का जवाब देने के लिए शुक्रवार का समय दिया है। जवाब नहीं मिलने पर पार्टी उनके खिलाफ पुलिस में शिकायत दर्ज कराएगी।
सुदीन धावलिकर महाराष्ट्र गोमांतक पार्टी (एमजीपी) के सदस्य हैं। एमजीपी के लावू मामलेदार ने आप के आरोपों को निराधार करार दिया। एमजीपी के विधानसभा में तीन विधायक हैं। वह भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेतृत्व वाली राज्य सरकार में सहयोगी पार्टी है।
आप की राज्य इकाई की अनुशासन समिति के प्रमुख दिनेश वाघेला ने एक प्रेस वार्ता के दौरान पणजी में कहा कि धावलिकर ने राज्य निर्वाचन आयोग के समक्ष दायर हलफनामे में कहा है कि उन्होंने 1979-80 में अपना स्नातक पूरा किया है, जबकि वास्तव में ऐसा नहीं है।
वाघेला ने कहा, “गोवा में आप के पास इस बात पर विश्वास करने के कई कारण हैं कि धावलिकर ने अपना स्नातक पूरा नहीं किया है और न ही उनके पास वह डिग्री है, जिसका उन्होंने चुनाव आयोग के समक्ष दायर शपथपत्र में दावा किया है।”
अपने शपथपत्र में धवलिकर ने कहा है कि उन्होंने दक्षिणी गोवा के पार्वतीबाई चौगले महाविद्यालय (मुंबई विश्वविद्यालय से संबद्ध) ने शैक्षिक सत्र 1979-80 में बीएससी की डिग्री हासिल की थी।
आप का कहना है कि पार्टी के पास कई सबूत हैं तो यह साबित करते हैं कि धावलिकर ने अपना स्नातक पूरा नहीं किया है।
उल्लेखनीय है कि दिल्ली में आप के कानून मंत्री जितेंद्र तोमर को दिल्ली पुलिस ने फर्जी डिग्री के मामले में गिरफ्तार किया है।
वाघेला ने कहा, “हम धावलिकर को जवाब देने के लिए 24 घंटे का समय दे रहे हैं। अगर उनका जवाब नहीं आया तो हम पुलिस में उनके खिलाफ शपथपत्र में गलत जानकारी देने के मामले में प्राथमिकी दर्ज कराएंगे।”
कई प्रयासों के बावजूद धावलिकर से संपर्क नहीं हो पाया। हालांकि उनकी पार्टी के प्रवक्ता लावू मामलेदार ने कहा, “उन्होंने (धावलिकर) ने अपना स्नातक मेरे साथ पूरा किया था। कॉलेज के समय में हम दोनों ने एक साथ पढ़ाई की है।”
मामलेदार ने कहा कि आरोप निराधार हैं। उन्होंने कहा, “मुझे नहीं पता कि आरोप किस कारण से लगाए जा रहे हैं। हालांकि आरोप झूठे हैं।”
सत्ताधारी भाजपा के प्रवक्ता विल्फ्रेड मेसक्यूटा ने कहा कि गलत शपथपत्र दायर करने के मामले में कार्रवाई करने का विवेकाधिकार निर्वाचन आयोग का है।
पणजी में संवाददाताओं से बात करते हुए राज्य के मुख्यमंत्री पारसेकर ने कहा कि मंत्रिमंडल का सदस्य बनने के लिए शैक्षिक योग्यता कोई मापदंड नहीं है।