न्यूयॉर्क, 13 जनवरी (आईएएनएस)। अमेरिका की मानवाधिकार संस्था ह्यूमन राइट्स वॉच ने मंगलवार को विदेश मंत्री जॉन केरी को पत्र लिखकर कहा है कि अमेरिका पाकिस्तान पर नए तथा लंबित मानवाधिकार समस्याओं का निपटारा करने का दबाव बनाए।
केरी तथा पाकिस्तान के प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने अमेरिका-पाकिस्तान रणनीतिक वार्ता के दौरान एक-दूसरे से मुलाकात की।
मानवाधिकार पर्यवेक्षक ने कहा, “पेशावर के एक स्कूल में हुए आतंकवादी हमले के बाद पाकिस्तान में मानवाधिकारों का घोर उल्लंघन सामने आया है।”
पत्र के मुताबिक, “अमेरिका-पाकिस्तान वार्ता पाकिस्तान पर दबाव बनाने के लिए केरी के लिए एक अच्छा मौका है। वह उसपर दबाव बनाएं कि आतंकवाद से मुकाबले के नाम पर वह निष्पक्ष सुनवाई तथा मानवाधिकार से समझौता न करे।”
उल्लेखनीय है कि 16 दिसंबर को स्कूल में हुए हमले के बाद पाकिस्तान सरकार ने नागरिक आतंकवाद के संदिग्धों की सुनवाई सैन्य अदालतों में करने के लिए संविधान में संशोधन किया है।
सरकार ने अपने इस कदम को यह कहकर न्यायोचित ठहराया है कि इससे आतंकवादियों की त्वरित सुनवाई सुनिश्चित होगी। हालांकि पाकिस्तान के कई न्यायाधीश तथा वकील इस बात की ओर सरकार का ध्यान दिला चुके हैं कि देश की पारंपरिक न्यायपालिका ऐसे मामलों की सुनवाई में सक्षम हैं।
मानवाधिकार पर्यवेक्षक ने कहा कि पाकिस्तान सरकार द्वारा विवेकहीन रूप से मौत की सजा देना और इसमें तेजी लाना भी गंभीर चिंता का विषय है।
पर्यवेक्षक ने कहा, “केरी को पाकिस्तानी नेताओं को यह बात स्पष्ट करना होगा कि नागरिकों की सैन्य अदालतों में सुनवाई और मौत की सजा देकर आनंद मनाना अंतर्राष्ट्रीय कानूनों के खिलाफ है और इससे अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर पाकिस्तान की छवि को नुकसान होगा।”
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।