चेन्नई, 7 अगस्त (आईएएनएस)। तमिलनाडु की मुख्यमंत्री जे.जयललिता ने शुक्रवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से आग्रह किया कि भारतीय मछुआरों के मछली पकड़ने के अधिकारों की सुरक्षा की जाए तथा कचाथीवू द्वीप श्रीलंका से वापस लिया जाए।
जयललिता ने मोदी को विभिन्न मांगों वाला एक ज्ञापन सौंपा। राष्ट्रीय हथकरघा दिवस तथा इंडियन हैंडलूम ब्रांड का उद्घाटन करने के बाद मोदी मुख्यमंत्री के आवास पर पहुंचे थे। इस दौरान मुख्यमंत्री ने वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) पर व्यापक आम सहमति की मांग की।
उन्होंने मोदी से एक कावेरी प्रबंधन समिति तथा कावेरी जल नियंत्रण समिति तथा नदी के किनारे कर्नाटक को बांध के निर्माण करने से रोकने की मांग की।
मोदी तथा जयललिता के बीच बैठक 50 मिनट तक चली। मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री मोदी के सम्मान में भोज भी दिया।
जयललिता ने ज्ञापन में कहा कि कचाथीवू रामेश्वर से दूर पाक जलडमरूमध्य में स्थित एक द्वीप है, जो 285 एकड़ में फैला है।
ज्ञापन के मुताबिक, “वास्तव में यह रामनाथपुरम के राजा के स्वामित्व में था, जिसके पर्याप्त दस्तावेजी सबूत हैं। भारतीय मछुआरे द्वीप में और इसके आसपास मछली पकड़ा करते थे।”
उन्होंने कहा कि साल 1974 तथा 1976 के समझौते के तहत, कचाथीवू को श्रीलंका को सौंप दिया गया। उसके बाद से ही तमिलनाडु के मछुआरे वहां मछली पकड़ने के अधिकार से वंचित हो गए।
साल 1991 में तमिलनाडु की विधानसभा ने कचाथीवू तथा इसके आसपास के समुद्री क्षेत्र को भारत में शामिल करने की मांग को लेकर एक प्रस्ताव पारित किया था।
जयललिता ने प्रधानमंत्री मोदी से श्रीलंका की हिरासत से तमिलनाडु के 31 मछुआरों तथा 23 नौकाओं को छुड़ाने की अपील की।
उन्होंने कहा कि तमिलनाडु के मछुआरों ने श्रीलंका के अपने समकक्षों से बातचीत की है। तीन दौर की बातचीत हो चुकी है।
उन्होंने कहा, “चेन्नई में पहले दौर की वार्ता के दौरान कई प्रस्ताव हुए, लेकिन कोलंबो में दूसरे दौर की वार्ता श्रीलंका के विदेश मंत्रालय के अधिकारियों के हठ की वजह से नाकाम हो गई।”
मुख्यमंत्री ने कहा, “चेन्नई में तीसरे दौर की वार्ता के दौरान तमिलनाडु के मछुआरों ने पाक खाड़ी मुद्दे के समाधान के लिए एक स्पष्ट रोड मैप सामने रखा, जिसे श्रीलंकाई मछुआरों ने खारिज कर दिया।”
उन्होंने प्रधानमंत्री से तमिलनाडु के मछुआरों के मछली मारने के अधिकारों की सुरक्षा की अपील की।
विवादित जीएसटी विधेयक पर जयललिता ने मोदी से मुआवजे की अवधि व कार्यप्रणाली व राजस्व तटस्थ दरों पर व्यापक आम सहमति बनाने को कहा।
मुख्यमंत्री ने केरल के मुल्ला पेरियार बांध पर केंद्रीय सुरक्षा बलों की तैनाती की प्रधानमंत्री से मांग की। इस बांध का रख-रखाव व इस्तेमाल तमिलनाडु करता है।