छपरा/हाजीपुर/बिहार शरीफ, 25 अक्टूबर (आईएएनएस)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी रविवार को बिहार में चुनावी रैलियों को संबोधित करते हुए कहा कि बाबा साहेब अंबेदकर ने जो आरक्षण दिया है, उसे कोई छीन नहीं सकता।
मोदी ने सारण के मढ़ौरा, हाजीपुर और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के गृह जिला नालंदा (बिहारशरीफ ) में अलग-अलग चुनावी रैलियों को संबोधित किया।
उन्होंने विरोधियों को निशाने पर लेते हुए कहा कि आज जब कुछ नहीं मिला तो झूठ चला रहे हैं। देश के सभी लोगों ने आरक्षण को स्वीकार कर लिया है। उन्होंने कहा, “भाजपा ने 14 वर्ष तक गुजरात में राज किया, मध्य प्रदेश में 15 वर्ष से सरकार है। इसके अलावा छत्तीसगढ़, झारखंड, हरियाणा, गोवा और राजस्थान में भी भाजपा की सरकार है। लेकिन कभी आरक्षण को आंच तक नहीं आने दिया गया।”
मोदी ने नालंदा विश्वविद्यालय की चर्चा करते हुए कहा कि पहले देश और दुनिया के छात्र यहां शिक्षा के लिए आते थे, लेकिन अब यहां के छात्रों को शिक्षा ग्रहण के लिए दूसरे क्षेत्रों में जाना पड़ता है।
उन्होंने कहा कि अब लालू प्रसाद और नीतीश कुमार के दिन लद चुके हैं। अब बिहार के नौजवान और उनका संकल्प जग चुका है। उन्होंने सत्ताधरी महागठबंधन को ‘महास्वार्थबंधन’ बताते हुए कहा कि इस गठबंधन की दंभ, दमन और दगा तीन पहचान हैं।
मोदी ने कहा, “अगर बिहार को बचाना है, बिहार को बदलना है तो उसका एक ही रास्ता है और वह है विकास। सभी दुखों की एक ही दवा है विकास।”
दाल की बढ़ी कीमत के लिए नीतीश सरकार को दोषी बताते हुए प्रधानमंत्री ने सवालिया लहजे में कहा, “नीतीश बाबू बताइए, जमाखोरों को आपने क्यों शरण दी है? इनकी जमाखोरी पर क्यों नहीं छापेमारी की जा रही है? पूरे देश में छापेमारी कर 75 हजर किलो टन दाल जब्त की गई। एक बिहार ही ऐसा राज्य है, जहां जमाखोरों पर कार्रवाई नहीं की गई।”
राघोपुर विधानसभा क्षेत्र की समस्याओं के लिए इशारों ही इशारों में लालू प्रसाद पर निशाना साधते हुए कहा कि राघोपुर ने मुख्यमंत्री दिया, लेकिन आज तक यहां एक पुल नहीं बन सका। गंगा और गंडक नदी से घिरे यहां के लोगों को आज नाव से से ही गांव से बाहर आना पड़ता है।
उन्होंने रैली में जुटी विशाल भीड़ से उत्साहित होकर कहा, “यह चुनावी सभा रैली और रैला नहीं, बल्कि परिवर्तन के संकल्प का मेला लग रही है। साफ दिख रहा है कि आठ नवंबर को जब चुनाव परिणाम आएगा तो बिहार की दिवाली कैसी होगी।”
उन्होंने कहा, “यह चुनाव बिहार ही नहीं, पूरे देश के लिए दो-दो दिवाली लेकर आएगा।”
मोदी ने लालू के खुद को ‘बड़ा तांत्रिक’ बताने पर तंज कसते हुए कहा, “लोकतांत्रिक नीतीश जी और देश के महान तांत्रिक लालू जी अपने 25 साल के शासनकाल का हिसाब नहीं दे रहे हैं। यह लोकतंत्र का अपमान है।”
प्रधानमंत्री ने कहा कि राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) के नेता चुनावी सभाओं में जहां विकास की बात करते हैं, वहीं लालू और नीतीश की 80 फीसदी सभा में इसी बात पर चर्चा होती है कि मोदी ने यह किया, मोदी ने वह किया।
नीतीश के कांग्रेस के साथ आने पर मोदी ने कटाक्ष करते हुए कहा, “पड़ोस में बलिया के माननीय चंद्रशेखर ने कांग्रेस से नाता तोड़ दिया और जयप्रकाश (जेपी) की शरण में आ गए, लेकिन नीतीश की मौकापरस्ती देखिए वह जेपी को छोड़कर कांग्रेस की शरण में पहुंच गए हैं।”
महागठबंधन को ‘महास्वार्थबंधन’ बताते हुए उन्होंने कहा कि पहले इस महागठबंधन में तीन खिलाड़ी थे, लेकिन अब एक तांत्रिक भी आ गया है। उन्होंने सवालिया लहजे में कहा कि क्या लोकतंत्र के साथ ऐसा खिलवाड़ हो सकता है?
मोदी ने लालू को नसीहत देते हुए कहा, “लालू जी आप काला कबूतर काटो, मिर्चा जलाओ, लेकिन साथ में आप अपने दल का नाम बदल कर ‘राष्ट्रीय जादू-टोना पार्टी’ कर लो। लोकतंत्र जादू-टोने से नहीं चलता है, यह जनता के आशीर्वाद से चलता है।”